उम्र बढ़ने के साथ, महिलाओं की फर्टिलिटी पर असर होता है। बायलॉजिकली 30 साल की उम्र के बाद मां बनने में मुश्किल आ सकती है। इसलिए, एक्सपर्ट 25-30 साल की उम्र को मां बनने के लिए बेस्ट मानते हैं। कॉन्सेप्शन के लिए महिला और पुरुष दोनों की सही उम्र और फर्टिलिटी मायने रखती है। 35 की उम्र के बाद शरीर में अंडों की क्वालिटी और संख्या में की आ जाती है। ऐसे में प्रेग्नेंट होना मुश्किल हो जाता है। इस समय पर प्रेग्नेंसी में भी कॉम्प्लिकेशन्स आ सकते हैं। हालांकि, आज के वक्त में ज्यादातर महिलाएं, कई कारणों से 30 की उम्र के बाद और कई बार 35 पार करने के बाद भी मां बनने की प्लानिंग कर रही हैं। ऐसे में फर्टिलिटी का ध्यान रखना जरूरी हो जाता है। बेशक 30-35 की उम्र के बाद मां बनने में मुश्किल आ सकती है। लेकिन, इसका मतलब यह बिल्कुल नहीं है कि आप इस उम्र में मां नहीं बन सकतीं। हेल्दी आदतों को अपनाकर, खान-पान से जुड़े सही बदलाव करके आप इस उम्र में भी आसानी से कंसीव कर सकती हैं। यहां हम आपको 10 ऐसी आदतों के बारे में बता रहे हैं, जो फर्टिलिटी को सुधारकर 35 साल की उम्र के बाद कंसीव करने में मदद कर सकती हैं। इस बारे में डाइटिशियन मनप्रीत जानकारी दे रही हैं। उन्होंने दिल्ली यूनिवर्सिटी से न्यूट्रिशन्स में मास्टर्स किया है। वह हार्मोन और गट हेल्थ कोच हैं।
35 साल की उम्र के बाद फर्टिलिटी सुधारने में मदद कर सकती हैं ये आदतें (How to improve egg quality after 35)
- एक्सपर्ट का कहना है कि 35 साल के बाद, एग क्वालिटी और फर्टिलिटी कम होने लगती है। शरीर में न्यूट्रिशन्स की कमी, इसे और बढ़ सकती है और एग क्वालिटी पर असर डालती है।
- इसकी वजह से इनफर्टिलिटी, मिसैकैरेज और प्रेग्नेंसी में मुश्किलें भी बढ़ सकती हैं। ऐसे में फर्टिलिटी को सुधारने के लिए कुछ आदतें अपनाना जरूर है।
- रोज सुबह 10-15 मिनट का वक्त सूरज की रोशनी में बिताएं। विटामिन-डी शरीर में हार्मोन रेगुलेशन और ओव्युलेशन के लिए बहुत जरूरी होता है।
- सुबह बादाम और अखरोट खाएं। इससे शरीर को ओमेगा-3 फैटी एसिड्स मिलते हैं। इससे इंफ्लेमेशन कम होता है और हार्मोन प्रोडक्शन बढ़ता है।
- सुबह वज्रासन और तितली आसन करें। साथ ही, दिमाग को शांत करने वाले और स्ट्रेस दूर करने वाले प्राणायाम करें। इससे रिप्रोडक्टिव ऑर्गन्स में ब्लड फ्लो होता है।
- मिड मील में फल खाएं। इसमें 1 टीस्पून कद्दू के और 1 टीस्पून सूरजमुखी के बीज मिलाएं। ये बीज जिंक और सेलेनियम से भरपूर होते हैं। इससे ओव्युलेशन में सुधार होता है और हार्मोन बैलेंस होता है।
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- डाइट में शकरकंदी और एवाकाडो को शामिल करें। इससे एग क्वालिटी में सुधार होता है और सेल्स को जरूरी एनर्जी मिलती है।
- रोजाना खाने के बाद, कम से कम 10 मिनट वॉक करें। इससे ब्लड शुगर लेवल मेंटेन होता है, हार्मोन बैलेंस होता है और वजन भी सही रहता है।
- डाइट में फॉलिक एसिड और आयरन से भरपूर चीजों को शामिल करें। इससे एग क्वालिटी में सुधार होता है।
- जिंक से भरपूर चीजें लें। इससे इम्यून फंक्शन में सुधार होता है।
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35 की उम्र के बाद फर्टिलिटी को मजबूत बनाए रखने में ये आदतें आपकी मदद कर सकती हैं। अगर आपको स्वास्थ्य से जुड़ी कोई समस्या है, तो हमें आर्टिकल के ऊपर दिए गए कमेंट बॉक्स में बताएं। हम अपने आर्टिकल्स के जरिए आपकी समस्या को हल करने की कोशिश करेंगे।
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Image Credit:Freepik, Shutterstock
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