गार्डनिंग करना हर किसी का शौक बनता जा रहा है। तभी तो महिलाएं घर में गार्डनिंग करना बेहद पसंद करती हैं। आमतौर पर, गार्डनिंग करते समय कई बार आपके पौधे बहुत अच्छी तरह ग्रो करते हैं तो कभी ऐसा भी होता है कि लगातार उनका ध्यान रखने पर भी वह अच्छी तरह बढ़ नहीं पाते और कभी-कभी तो मर ही जाते हैं। ऐसे में जरूरी होता है कि आप गार्डनिंग करने के लिए कुछ अलग व अनोखे तरीके अपनाएं। जो एक बिगनर को सुनने में शायद अजीब लगें, लेकिन वास्तव में आपके गार्डन एरिया में बेहद काम आ सकते हैं।
इन्हीं अलग-अलग तरीकों में से एक है गार्डन एरिया में माचिस की तीली का इस्तेमाल करना। अमूमन लोग माचिस की तीली की मदद से मोमबत्ती आदि को जलाती हैं। लेकिन वास्तव में यह आपके गार्डन एरिया के लिए किसी वरदान से कम नहीं है। अगर आप चाहें तो इसे एक अलग तरह से अपने गार्डन एरिया में इस्तेमाल कर सकती हैं और अपने प्लांट्स की अतिरिक्त केयर सकती हैं। तो चलिए आज इस लेख में हम आपको बता रहे हैं कि आप पौधों के लिए माचिस की तीली का उपयोग करना किस प्रकार लाभदायक है और आप अपने किस तरह यूज कर सकती हैं-
अगर आपको अपने बगीचे और हाउसप्लांट्स में अच्छी ग्रोथ नहीं देखती हैं, भले ही आप समय पर पानी देने के साथ-साथ खाद देना और देखभाल करती हैं, तो ऐसा कीटों के कारण हो सकता है। ऐसे में माचिस की तीली आपके काम आ सकती है। यह प्लांट्स के छोटे-छोटे कीट से छुटकारा दिलाने में मदद करते हैं। इन्हें इस्तेमाल करना भी आसान है। इसके लिए, आप 8-10 माचिस की तीलियां लें और उन्हें कंटेनर के किनारों से थोड़ी दूर मिट्टी में दबा दें। ध्यान रखें कि माचिस की तीली का उपरी हिस्सा, जहां से आप उसे जलाती हैं, उस साइड से ही मिट्टी में दबाएं। उसके बाद आप पौधों की नार्मल देखभाल दें। अपने पौधों को सामान्य रूप से पानी दें जैसा कि आप आमतौर पर करती हैं। माचिस को एक सप्ताह के लिए मिट्टी में छोड़ दें और फिर चेकर जांचें कि उनके सिरे घुल गए हैं या नहीं। यदि ऐसा होता है, तो पुरानी माचिस की तीलियों को निकाल दें और उनके स्थान पर नई माचिस की तीलियां मिट्टी में दबाएं। इस प्रक्रिया को 3-4 बार दोहराएं जब तक कि आपको अपने प्लांट्स में मौजूद कीटों से छुटकारा न मिल जाए।
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माचिस की तीली में पोटेशियम क्लोरेट, फास्फोरस, सल्फर, थोड़ी मात्रा में मैग्नीशियम और फेरिक ऑक्साइड होता है। इतना ही नहीं, माचिस की कुछ किस्मों में लाल फास्फोरस भी शामिल है। जहां माचिस की तीली में मौजूद फास्फोरस एक बेहतरीन रूट सिस्टम को स्थापित करने में मदद करता है। वहीं, सल्फर और मैग्नीशियम क्लोरोफिल उत्पादन में मदद करते हैं, जिसका अर्थ है कि आपके पौधों में हरियाली होगी। इस तरह अगर आप प्लांट्स की मिट्टी में माचिस की तीली को फिक्स करती हैं तो इससे आपके पौधों को बहुत अधिक लाभ होगा और उनकी ग्रोथ भी अच्छी तरह होगी। हालांकि, यहां आपको यह भी ध्यान रखना चाहिए कि माचिस की तीली छोटे कंटेनर पौधों के लिए अच्छी है और बहुत बड़े पौधों और पेड़ों के लिए काम नहीं कर सकती है। (अपने 'होम ऑफिस' में रखेंगी ये 6 प्लांट्स तो दिमाग रहेगा 'कूल-कूल')
पौधों की ग्रोथ के लिए फर्टिलाइजर जरूरी होता है, हालांकि, हर बार यह निर्धारित करना आसान नहीं होता है कि पौधे को कितने फर्टिलाइजर की जरूरत है। तो ऐसे में हर पॉट में 10-15 माचिस की तीली लगाना यकीनन एक अच्छा आईडिया है। इससे जब भी आप पौधों को पानी देंगे, तो माचिस की तीली का उपरी हिस्सा मिट्टी में डिसॉल्व होता रहेगा। यह धीरे-धीरे फॉस्फोरस, मैग्नीशियम और सल्फर को मिट्टी में छोड़ता है, जो पौधों को धीरे-धीरे और लगातार पोषण देने में मदद करता है। हालांकि, यहां आपको यह भी देखना चाहिए कि अगर आप माचिस की तीली का इस्तेमाल कर रही हैं तो आप फर्टिलाइजर को पूरी तरह से स्किप नहीं कर सकती हैं।
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