गणेश चतुर्थी के बाद अब अनंत चतुर्दशी का पर्व भी आ गया है। इस त्योहार पर वैसे तो जगतपिता भगवान विष्णु के अनंत स्वरूप की पूजा होती है, मगर यह दिन गणपति प्रतिमा के विर्सजन का दिन भी होता है। लोग जितनी धूम-धाम से गणपति जी को गणेश चतुर्थी पर अपने घर लाते हैं, उतनी ही धूम-धाम से अनंत चतुर्दशी पर उनको विर्सजित भी कर देते हैं। हालांकि यह बहुत ही भावुक पल होता है, मगर यही धर्म की रीति है। इस बार 1 सितंबर को अनंत चतुर्दशी का पर्व मनाया जाएगा।
कोवडि-19 संक्रमण की वजह से इस बार लोग घर पर ही गणपति विसर्जन कर रहे हैं, ऐसे में हमने पडिंत कैलाश नारायण से यह जानने की कोशिश की कि घर पर किस तरह से और शुभ मुहूर्त पर गणपति जी का विसर्जन करना चाहिए।
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1 सितंबर को अनंत चतुर्दशी भी है। इस दिन बहुत सारे लोग गणेश प्रतिमा का विसर्जन करते हैं। यह दिन बहुत ही शुभ होता है। इस वर्ष पूरे दिन में गणेश प्रतिमा (गणपति की ऐसी प्रतिमा, जो पूरी करे सारी मनोकामनाएं) का विसर्जन करने के लिए 4 शुभ मुहूर्त पंडित जी बताते हैं। सुबह 9:10 बजे से दोपहर 1:56 बजे तक, दोपहर 3:32 बजे से लेकर शाम 5:07 बजे तक, रात 8:07 बजे से रात 9:32 बजे तक और रात 10:56 बजे से लेकर 2 सितंबर सुबह 3:10 बजे तक । इसके बाद पितृ पक्ष लग जाएंगे।
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