भारत का अपना एक समृद्ध इतिहास रहा है जो आज भी यहां के कोने-कोने में बिखरा हुआ है। भारत के अलग-अलग राज्यों में कई किले हैं, जिन्हें हिन्दू शासकों से लेकर मुगलों ने बनवाया है। ये किले दुश्मन के हमलों के खिलाफ सुरक्षा प्रदान करते थे। ऐसे में राजा-महाराजा इनके निर्माण पर विशेष रूप से जोर देते थे। देश की राजधानी दिल्ली में भी कई किले बनाए गए।
कई शासकों द्वारा शहर में और उसके आसपास कई किले बनाए गए थे। एक समय में बेहद ही शानदार संरचना माने जाने वाले इन किलों में से कई आज खंडहर बन चुके हैं, लेकिन फिर भी लोग इन्हें देखने के लिए आते हैं। इन किलों का अपना ऐतिहासिक महत्व है। तो चलिए आज इस लेख में हम आपको दिल्ली में स्थित कुछ ऐसे ही किलों के बारे में बता रहे हैं, जो ऐतिहासिक और सांस्कृतिक विरासत का प्रतिनिधित्व करते हैं-
दिल्ली में स्थित किलों में सबसे महत्वपूर्ण लाल किला माना जाता है। इसे यूनेस्को वर्ल्ड हेरिटेज साइट (भारत की वर्ल्ड हेरिटेज साइट्स से जुड़ी दिलचस्प बातें) में शामिल किया गया है। इस किले का नाम इसके निर्माण में इस्तेमाल किए गए लाल बलुआ पत्थर के नाम पर रखा गया था। बता दें कि साल 1639 में मुगल सम्राट शाहजहां द्वारा यमुना नदी के तट पर इसका निर्माण शुरू किया गया था और इसे पूरा होने में लगभग 9 साल लग गए। उसके बाद से, लाल किला 1856 तक लगभग दो दशकों तक मुगलों का प्राथमिक निवास बना रहा।
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सलीमगढ़ किला 1546 का है जब सूरी राजवंश ने दिल्ली पर शासन किया था। इसे सलीम शाह सूरी द्वारा निर्मित किया गया और 1555 ई. में राजवंश के पतन के बाद इसका महत्व समाप्त हो गया। बाद में, सलीमगढ़ किले को औरंगजेब ने जेल में बदल दिया था। वहीं, अंग्रेजों ने इसे 1857 में अपनी सेना की छावनी में बदल दिया था। यहां एक पुल है जो सलीमगढ़ को लाल किले से जोड़ता है। हालांकि किला एक खंडहर अवस्था में है, लेकिन फिर भी आप यहां पर घूमने के लिए आ सकते हैं।
ऐसा कहा जाता है कि अलाउद्दीन खिलजी ने इस किले की नींव में 8000 मंगोल सैनिकों के सिर गाड़ दिए थे। और यहीं से इस किले का नाम पड़ा। सिरी शब्द 'सर' से बना है। सिरी एक समय एक किलाबंद शहर था और इस किले के निवासियों की पानी की जरूरतों को पूरा करने के लिए हौज खास में जलाशय की खुदाई की गई थी। सिरी किले में एक हजार स्तंभों का महल और प्रसिद्ध सात द्वार थे जो शहर के विभिन्न हिस्सों की ओर खुलते थे। यदि आप इतिहास के शौकीन हैं, तो इसकी खंडहर हो चुकी दीवारें और गढ़ भी आपके लिए बेहद खास हैं। ऐसे में आपको यहां पर एक बार अवश्य आना चाहिए।
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पुराना किला इतिहास प्रेमियों के लिए दिल्ली (दिल्ली के खूबसूरत मोनुमेंट्स) की सबसे अच्छी जगहों में से एक है। पुराने किले में 18 मीटर ऊंची दीवारें हैं और तीन धनुषाकार प्रवेश द्वार हैं, जिनके नाम हैं - बड़ा दरवाजा, हुमायूं गेट, और तालाकी गेट। किले का एक बड़ा हिस्सा अच्छी तरह से बनाए रखा गया है, और आप लॉन, शेरमंडल, किला-ए-कुहना मस्जिद और एक म्यूजियम देख सकते हैं। इस किले में हर दिन लाइट एंड साउंड शो आयोजित किया जाता है।
तो अब आप जब भी दिल्ली घूमने जाएं तो इन फोर्ट को एक बार अवश्य देखें और अपने एक्सपीरियंस हमारे साथ अवश्य शेयर करें। इस आर्टिकल के बारे में अपनी राय भी आप हमें कमेंट बॉक्स में जरूर बताएं। साथ ही, अगर आपको यह लेख अच्छा लगा हो तो इसे शेयर जरूर करें व इसी तरह के अन्य लेख पढ़ने के लिए जुड़ी रहें आपकी अपनी वेबसाइट हरजिन्दगी के साथ।
Image Credit- wikipedia
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