हिमाचल के कुल्लू में है महादेव का यह पौराणिक मंदिर, दोस्तों और फैमिली के साथ एक बार आप भी जाएं...खूबसूरती दिल मोह लेगी

हिमाचल प्रदेश के कुल्लू में महादेव का एक बेहद ही खूबसूरत मंदिर है, जो समुद्र तल से 7 हजार मीटर से ज्यादा की ऊंचाई पर स्थित है। आइए, यहां जानते हैं कि महादेव का यह कौन-सा मंदिर है और यहां कैसे पहुंचा जा सकता है। 
How to reach Bijli Mahadev Temple

हिमाचल प्रदेश में मनाली, शिमला, डलहौजी, कसौल समेत कई पॉपुलर हिल स्टेशन हैं, जहां घूमने के लिए हर साल लाखों टूरिस्ट जाते हैं। लेकिन, आज हम हिमाचल के उस शहर के बारे में बात करने जा रहे हैं, जो अपनी खूबसूरती के साथ-साथ धार्मिक महत्व के लिए भी जाना जाता है। जी हां, यह शहर और कोई नहीं, बल्कि कुल्लू है। हिमालय की गोद में बसे कुल्लू में कई प्राचीन मंदिर हैं।

कुल्लू घाटी के अनेक मंदिरों में से आज हम काशवरी गांव में स्थित बिजली महादेव मंदिर के बारे में बताने जा रहे हैं। बिजली महादेव का मंदिर, कुल्लू से 14 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। महादेव के इस पौराणिक मंदिर के दर्शन करने के लिए शिवरात्रि के मौके पर खूब भीड़ लगती है। अगर आपका भी कुल्लू जाने का प्लान है, तो दोस्तों और परिवार के साथ महादेव के इस मंदिर जरूर जा सकते हैं।

बिजली महादेव के मंदिर कैसे पहुंचा जा सकता है से लेकर कब जाना चाहिए, यह सब हम इस आर्टिकल में बताने जा रहे हैं। आपकी जानकारी के लिए बता दें, बिजली महादेव मंदिर की ये सभी जानकारी लेखक के पर्सनल एक्सपीरियंस पर बेस्ड हैं।

कैसे पहुंचा जा सकता है बिजली महादेव के मंदिर?

kullu bijli mahadev mandir

बिजली महादेव मंदिर अलग-अलग तरीके से पहुंचा जा सकता है। जी हां, अगर आप हिमाचल प्रदेश के मनाली, कसौल या कुल्लू शहर घूमने गए हैं, तो बिजली महादेव मंदिर पहुंचना बहुत ही आसान है। मनाली से बिजली महादेव मंदिर की दूरी 63 किलोमीटर की है। कसौल से बिजली महादेव मंदिर की दूरी 34.5 किलोमीटर की है, जिसे पूरा करने में करीब दो घंटे का समय लगता है। वहीं कुल्लू से बिजली महादेव मंदिर की दूरी महज 14 किलोमीटर की है।

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हिमाचल के इन सभी शहरों से बिजली महादेव मंदिर पहुंचने के लिए बस मिलती है। अगर आप लोकल बस से सफर कर रही हैं, तो पहले कुल्लू पहुंचे और फिर वहां से बिजली महादेव के लिए बस लें। वहीं कसौल से भी इसी तरह से सफर किया जा सकता है। इसके अलावा हर शहर से प्राइवेट टैक्सी करके भी बिजली महादेव मंदिर पहुंच सकती हैं।

प्राइवेट टैक्सी से सफर करने पर यह फायदा होता है कि वह आपको जहां से मंदिर के लिए ट्रैक शुरू होता है, उसी जगह पर उतारते हैं। वहीं, बस आपको कुछ दूरी पर उतार देती है और वहां से पैदल चलकर ट्रैक वाली जगह तक आना पड़ता है।

महादेव के मंदिर तक पहुंचने के लिए है 3 किलोमीटर की चढ़ाई

travel tips for bijli mahadev

बिजली महादेव मंदिर तक पहुंचने के लिए 3 किलोमीटर की ट्रेकिंग करनी पड़ती है। यह रास्ता जंगल से होकर गुजरता है। अगर आप नेचर लवर हैं, तो बिजली महादेव का रास्ता आपको खूब सुकून दे सकता है, यहां इतनी शांति होती है कि पक्षियों और उनके पंख लहराने की आवाज भी सुनाई देती है।

बिजली महादेव मंदिर का पैदल रास्ता कई जगह बहुत खराब भी हो जाता है। एक तरफ पहाड़ और एक तरफ खाई वाला यह पूरा रास्ता पथरीली सीढ़ियों का है, जो कई जगह खूब स्टीप हो जाता है।

कब जाएं बिजली महादेव मंदिर?

बिजली महादेव मंदिर जाने का सबसे अच्छा समय 15 अप्रैल से मई और अक्टूबर से 15 दिसंबर तक है। बारिश के मौसम में बिजली महादेव मंदिर के ट्रेक में मुश्किल हो सकती है। वहीं 15 दिसंबर से 15 अप्रैल तक, मंदिर का द्वार बर्फबारी की वजह से बंद हो जाते हैं। (हिमाचल के खूबसूरत टूरिस्ट प्वाइंट)

बिजली महादेव मंदिर पहुंचकर हो जाएंगे मंत्रमुग्ध

बिजली महादेव मंदिर, पहाड़ की चोटी पर स्थित है। ऐसे में मंदिर पहुंचकर आस-पास के सभी पहाड़ों की चोटी ही दिखाई देती है। यह नजारा आपका दिल मोह लेगा।

शिवरात्रि और सावन के अलावा बिजली महादेव मंदिर में दर्शन के लिए श्रद्धालुओं की ज्यादा भीड़ नहीं लगती है। ऐसे में आप बहुत ही आराम और सुकून से महादेव के दर्शन कर सकते हैं। मैं (लेखक) और मेरी एक साथी ने मंदिर में लंबे समय तक बैठकर महादेव का नाम भी जपा था।

बिजली महादेव मंदिर के दर्शन करने के बाद आप चाहें तो कुछ समय पहाड़ की चोटी पर बैठकर खूबसूरत नजारों का आनंद ले सकते हैं और फोटोग्राफी भी कर सकते हैं।

इन बातों का रखें ध्यान

things to keep in mind before traveling

खाना-पीना: बिजली महादेव मंदिर की चढ़ाई करते समय कुछ बातों का ध्यान रखना बहुत जरूरी हो जाता है, जिससे परेशानी से बचा जा सके। बिजली महादेव मंदिर के ट्रेक के रास्ते में आपको खाने-पीने की ज्यादा दुकान नहीं हैं, जो हैं वहां चाय और मैगी ही ज्यादातर मिलती है। ऐसे में आप अपने खाने-पीने की तैयारी पहले ही करके ले जाएं, तो अच्छा है।

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दौड़ न लगाएं: बिजली महादेव मंदिर का रास्ता कई जगह खूब स्टीप हो जाता है, ऐसे में अगर आप दौड़ लगाएंगे तो सांस फूलने की समस्या हो सकती है।

ज्यादा सामान: बिजली महादेव मंदिर के ट्रेक में ज्यादा सामान ले जाने की जरूरत नहीं है। आप एक पानी की बोतल और कुछ खाने का सामान ही अपने पास रखें।

समय: बिजली महादेव मंदिर में समय बिताने के बाद समय से लौटना ही फायदेमंद रहता है। ऐसा इसलिए, क्योंकि पूरा ट्रैक जंगल से गुजरता है और वहां किसी भी तरह की लाइट या सुविधा मौजूद नहीं है। ऐसे में सूरज ढलने से पहले ही नीचे लौट आना चाहिए और आगे का अपना ट्रैवल प्लान करना चाहिए।

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Image Credit: Prachi's Personal

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