पिंक सिटी के नाम से जाना जाने वाला भारत का शहर जयपुर स्वयं में बेहद अद्भुत है। राजस्थान राज्य की राजधानी जयपुर शानदार किलों, महलों, राजसी इमारतों और इतिहास के कारण पूरे विश्व में जाना जाता है। जयपुर भारत का पहला शहर है जिसे वास्तुशास्त्र के अनुसार निर्मित किया गया था। यह शहर सिर्फ राजस्थान या भारत में ही नहीं, बल्कि पूरे विश्व में पर्यटन आकर्षण का मुख्य केन्द्र है। अगर आप भी प्राचीन महलों और शाही जीवनशैली को करीब से महसूस करना चाहती हैं तो जयपुर घूमना एक अच्छा विचार है। जयपुर में ऐसी कई जगहें हैं, जहां पर घूमने के बाद आपको अहसास होगा कि जयपुर ट्रिप यकीनन आपके जीवन का बेस्ट ट्रिप है। तो चलिए आज हम आपको जयपुर की कुछ बेहतरीन एतिहासिक जगहों के बारे में बता रहे हैं, जहां पर आपको एक बार तो अवश्य घूमकर आना चाहिए-
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सिटी पैलेस जयपुर में सबसे प्रसिद्ध पर्यटक आकर्षणों में से एक है। यह महल 1729 और 1732 ईस्वी के बीच सवाई जय सिंह द्वितीय द्वारा बनाया गया था। यह राजस्थानी और मुगल वास्तुकला का एक अद्भुत मेल है। पैलेस को व्यापक मार्गों के साथ एक ग्रिड पैटर्न में रखा गया है और सभी तरफ बड़ी दीवारों से घिरा हुआ है। पैलेस में एक संग्रहालय भी है जिसमें राजस्थानी पोशाकों व मुगलों तथा राजपूतों के हथियार का एक बेहतरीन संग्रह है। इसके अलावा भव्य दीवान-ए-ख़ास और दीवान-ए-आम, सिल्ह खाना (रानी का महल) और प्रीतम निवास चौक (चार बड़े दरवाजों वाला आंगन), सभी सिटी पैलसे को अनूठा बनाते हैं।
हवा महल जयपुर का एक प्रमुख आकर्षण है और यह अपनी बेहतरीन वास्तुकला और ऐतिहासिक महत्व के लिए जाना जाता है। हवामहल का निर्माण 1799 में महाराजा सवाई प्रताप सिंह ने करवाया था। इसे राजस्थान की सबसे प्राचीन इमारतों में गिना जाता है। इस महल में 953 खिड़कियां हैं, जिन्हें जाली की मदद से सजाया गया है। इन आकर्षक खिडकियों व झरोखों के कारण इस महल को पैलेस ऑफ विंड्स भी कहा जाता है। महल सुंदर लाल और गुलाबी बलुआ पत्थर से बना है और यह पांच मंजिला पिरामिड की तरह दिखता है। हवा महल के अंदर कोई सीढ़ियां नहीं हैं।
जयपुर के मानसागर झील के मध्य में स्थित जलमहल एक प्रसिद्ध ऐतिहासिक महल है। इस मंजिल की पांच मंजिलों में से केवल एक पानी की सतह से ऊपर है, बाकी चार पानी के नीचे छिपे हुए हैं। यही कारण है कि तपते रेगिस्तान के बीच भी इस महल में कभी भी गरमी नहीं लगती। इस महल का इस्तेमाल राजा अपनी रानी के साथ खास वक्त बिताने या राजसी उत्सवों पर किया करते थे। हालांकि जलमहल अब पक्षी अभ्यारण के रूप में भी विकसित हो रहा है। यहाँ की नर्सरी में 1 लाख से अधिक वृक्ष लगे हैं। यहां पर राजस्थान के सबसे ऊँचे पेड़ पाए जाते हैं।
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अरावली पहाड़ी की चोटी पर स्थित आमेर का किला अपनी वास्तुशिल्प कला और इतिहास के कारण काफी प्रसिद्ध है। यहां पर प्रतिदिन बड़ी संख्या में पर्यटक आते हैं। यह किला गुलाबी और पीले बलुआ पत्थरों से मिलकर बना हुआ है और वास्तुकला की इंडो-इस्लामिक शैली को दर्शाता है। यहां पर कई फिल्मों जैसे जोधा अकबर, मुगल-ए-आज़म और वीर की शूटिंग हो चुकी है।
नाहरगढ़ किला अरावली पहाड़ियों के किनारे पर स्थित है और जयपुर के बेहतरीन पर्यटक स्थलों में से एक है। नाहरगढ़ का किला 1734 में सवाई जय सिंह द्वितीय बनाया गया था। नाहरगढ़ किला जयपुर शहर के समृद्ध इतिहास का एक उत्कृष्ट उदाहरण है और रात में इसकी खूबसूरती देखते ही बनती है। यह किला आमेर किले और जयगढ़ किले के साथ मिलकर खड़ा है और यहां से आप मान सागर झील, जल महल और जयपुर शहर के अदभुत नजारे को बेहद आसानी से देख सकती हैं।
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