आजकल फिल्म 'राजी' में आलिया भट्ट के किरदार सहमत सैयद की काफी चर्चा है। आप में से बहुत से महिलाओं ने यह फिल्म देख ली होगी। इस फिल्म में आलिया ने एक भारतीय जासूस का किरदार निभाया है। फिल्म में जिस तरह की पृष्ठभूमि में उनका किरदार दिखाया गया है, उससे अमूमन हर महिला खुद को जोड़कर देख सकती है। सहमत यानी इमोशनल, सीधी-सादी और अपने आसपास के खतरों को ना भांप सकने वाली महिला। फिल्म में सहमत की जर्नी एक साधारण महिला से असाधारण काम कर गुजरने वाली और देश को बड़ी कामयाबी दिलाने वाली महिला के रूप में दिखाई गई है।
सहमत ( बदला हुआ नाम ) एक रियल लाइफ पर आधारित किरदार है, जिसने फैसेलिटेटर की भूमिका से आगे बढ़ते हुए देश के लिए बड़ी क्लासीफाइड इन्फॉर्मेशन दीं। इसमें उस समय की सबसे बड़ी खबर थी कि पाकिस्तान आईएनएस विराट को डुबोने का प्लान बना रहा था और उसकी तरफ से समय पर मिली सूचना ने भारत को अहम लीड दिलाई और इसी की बदौलत पाकिस्तान को 1971 के वॉर में करारी शिकस्त मिली।
सहमत ने अपने देश के लिए अपने इमोशन्स की परवाह नहीं की और अपनी जिंदगी भी दांव पर लगा दी। भारतीय महिलाएं जो अपने घर-परिवार और उनकी वेल-बींग के लिए जरूरत से ज्यादा फिक्रमंद रहती हैं, इस फिल्म से कई तरह के संदेश ले सकती हैं। फिल्म में जिंदगी और मौत का चोली-दामन का साथ दिखाया गया है। अपनी पर्सनल लाइफ में महिलाओं को जिंदगी की इन्हीं कड़वी हकीकतों का अहसास करने की जरूरत है, तभी वे अपनी जिंदगी में कामयाब हो सकती हैं और अपने मनमुताबिक जी सकती हैं। आइए जानें कि सहमत के किरदार से महिलाएं अपनी पर्सनल लाइफ के लिए क्या मैसेज ले सकती हैं-
क्या है मकसद
अगर आपने अपनी जिंदगी का कोई मकसद तय नहीं किया है तो आपकी जिंदगी बिल्कुल उसी नाव की तरह है, जिसका कोई मांझी नहीं। सहमत ने अपनी रवायत के अनुसार बहुत कम उम्र में यह तय कर लिया कि वह अपनी जिंदगी देश के नाम कर रही है। आप इससे सबक लेते हुए अपनी जिंदगी का मकसद तय कर सकती हैं कि आप जिंदगी में क्या कुछ हासिल करना चाहती हैं। आपके इस फैसले से आपकी आगे की राहें खुद-ब-खुद खुलती चली जाती हैं।
सही प्लानिंग
फिल्म में सहमत को एक साधारण कॉलेज जाने वाली लड़की के तौर पर दिखाया गया जो खून देख लेने भर से बेचैनी महसूस करने लगती थी, लेकिन उसने जब अपना मकसद तय कर लिया तो सही प्लानिंग के जरिए खुद को तैयार किया। अगर प्लानिंग ना हो तो आप कोई भी काम सही तरीके से नहीं कर सकतीं। इसीलिए आपने अपने लिए जिस करियर के बारे में सोचा है, जिस दिशा में आगे बढ़ने की सोची है, उसके बारे में आपको सही प्लानिंग करने की जरूरत है।
फेल होने से डरना कैसा
कोई भी काम शुरुआत में आसान नहीं होता। असमत की तरह आपको भी खुद पर भरोसा रखना सीखना होगा कि आपके लिए नामुमकिन कुछ भी नहीं। असमत अपनी ट्रेनिंग के दौरान काफी मुश्किलों से गुजरती है, उसके लिए बदलाव की राह आसान नहीं होती, लेकिन वह हिम्मत नहीं हारती और अपनी कोशिशें जारी रखती है। आपको भी कामयाब होने के लिए अपने भीतर कुछ ऐसा ही जज्बा बनाए रखना चाहिए।
इमोशन्स पर काबू पाना
अपने मकसद को पूरा करने की राह में आपके सामने ढेर सारी चुनौतियां आएंगी। अगर आप भावनाओं में बहकर अपने लिए रास्ते नहीं बना सकतीं तो आप कभी भी अपनी मंजिल तक नहीं पहुंच सकतीं। कुछ इसी तरह की बात फिल्म राजी में भी दिखाई देती है जब सहमत अपना मकसद पूरा करने के लिए अपने पति (विकी कौशल) के खिलाफ खड़े होने को भी तैयार हो जाती है । वह अपनी इमोशन्स पर पूरी तरह कंट्रोल कर लेती है और बड़ी-बड़ी तकलीफें झेलने के लिए भी खुद को मानसिक रूप से तैयार रखती है।
लगन हो सहमत जैसी
अगर आप पूरी लगन के साथ किसी काम में जुट जाएं तो आपको निश्चित तौर पर उसमें सफलता मिलेगी। सहमत ने देश के लिए जासूस बनने का फैसला लिया, जिस राह पर हर पल मुश्किलें ही मुश्किलें हैं। इस सफर पर सामने आने वाले जोखिमों को जानने के बावजूद सहमत ने अपने मेहनत और लगन के बल पर अपने देश को कामयाबी दिलाई। अगर सहमत की तरह हम भी अपने हर छोटे-बड़े काम ऐसी ही लगन के साथ करें तो हम अपने उद्देश्यों को पूरा करने में सफल हो सकते हैं।
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