साल 1994 में 21 मई का दिन सभी भारतीयों के लिए एक खास महत्व रखता है, क्योंकि इस दिन भारत की खूबसूरती को अंतर्राष्ट्रीय पटल पर एक अलग पहचान मिली। जी हां, यह वही दिन था, जब सुष्मिता सेन ने मिस यूनिवर्स का ताज जीता था और इस तरह वह मिस यूनिवर्स का खिताब पाने वाली भारत की पहली महिला बन गई थीं। सुष्मिता की जीत ने यकीनन हर भारतीय महिला के मन में एक नया जज्बा व आत्मविश्वास कायम किया। लेकिन उनके लिए यह सफर आसान नहीं था। मिस यूनिवर्स बनने से पहले उन्होंने कई मुश्किलों का सामना किया।
सुष्मिता ने मिस यूनिवर्स का टाइटल जीतने के बाद फिल्मी दुनिया में कदम रखा और वहां भी अपनी खूबसूरती और एक्टिंग स्किल्स के जरिए सफलता हासिल की। वह एक ऐसी महिला हैं, जिन्होंने समाज के दकियानूसी सोच को तोड़ा। शादी ना करने के बावजूद भी उन्होंने एक नहीं दो लड़कियों को गोद लिया। वह अपनी दोनों बेटियों रेने और अलीशा को बेहद प्यार करती हैं। तो चलिए आज इस लेख में हम आपको मिस यूनिवर्स बनने वाली पहली भारतीय महिला सुष्मिता सेन के जीवन के बारे में करीब से बता रहे हैं-
सुष्मिता सेन का पारिवारिक जीवन
सुष्मिता सेन का जन्म हैदराबाद में एक बंगाली बैद्य परिवार में हुआ था। उनके पिता भारतीय वायु सेना के पूर्व विंग कमांडर शुबीर सेन और उनकी मां दुबई स्थित एक स्टोर के मालिक और ज्वैलरी डिजाइनर सुभ्रा सेन हैं। सुष्मिता का एक भाई है। सुष्मिता सेन से शादी नहीं की है, लेकिन उन्होंने दो बेटियों रेने और अलीशा को गोद लिया।
मिस यूनिवर्स बनना नहीं था आसान
मिस यूनिवर्स बनने में सुष्मिता को कई तरह की तकलीफों का सामना करना पड़ा। दरअसल, प्रतियोगिता में भाग लेने से पहले उनका पासपोर्ट खो गया था। यह अनुपमा वर्मा को दिया गया था, जो उस समय एक बहुत प्रसिद्ध मॉडल थीं और अन्य कार्यक्रमों की आर्गेनाइजर भी थीं। ऐसे में वह काफी डर गई थी।
ऐसे में मिस इंडिया के आयोजकों ने सुझाव दिया कि मिस इंडिया पेजेंट की उपविजेता ऐश्वर्या रायको उनके स्थान पर मिस यूनिवर्स पेजेंट में भेजा जाए। वहीं, सुष्मिता मिस वर्ल्ड पेजेंट के लिए जा सकती हैं। इसके बाद सुष्मिता ने अपने पिता से इस बारे में बात की और कहा कि वह मिस यूनिवर्स के अलावा किसी और प्रतियोगिता में नहीं जाएंगी। बाद में उनके पिता ने दिवंगत केंद्रीय मंत्री राजेश पायलट से मदद ली।
सुष्मिता सेन यकीनन बेहद ही खूबसूरत हैं। लेकिन मिस यूनिवर्स का प्लेटफॉर्म एक महिला की खूबसूरती के साथ-साथ अन्य पहलूओं पर भी उतना ही गौर करता है। ऐसे में सुष्मिता के लिए जीत हासिल करना काफी मुश्किल था। दरअसल, वह एक हिन्दी मीडियम स्कूल में पढ़ी थीं और इसलिए अंग्रेजी को अच्छी तरह से समझ पाना और उत्तर दे पाना उनके लिए मुश्किल था। लेकिन जब उनसे महिला होने के सार के बारे में पूछा गया, तो उन्होंने बेहद ही खूबसूरती के साथ जवाब दिया। जिसने हर किसी का दिल जीत लिया।
सुष्मिता सेन की उपलब्धियां
- 1994 में, सुष्मिता सेन ने फेमिना मिस इंडिया का खिताब जीता। उस समय उनकी उम्र 18 वर्ष थी।
- साल 1994 में सुष्मिता ने मिस यूनिवर्स का खिताब जीता। इस तरह वह मिस यूनिवर्स बनने वाली पहली महिला बन गई।
- जनवरी 2017 में सुष्मिता को फिलीपींस में मिस यूनिवर्स 2016 के जजों में से एक के रूप में दिखाई दीं।
- साल 1999 में बीवी नंबर 1 फिल्म के लिए सुष्मिता सेन को बेस्ट सर्पोटिंग एक्ट्रेस का फिल्मफेयर अवॉर्ड मिला।
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