Shri Ganesh Ka Path: श्री गणेश को विघ्न हरता कहा जाता है। मान्यता है कि श्री गणेश की पूजा से जीवन की हर बाधा दूर हो जाती है। वहीं, श्री गणेश के पाठ से व्यक्ति को भौतिक सुखों की प्राप्ति होती है।
हिन्दू धर्म ग्रंथों में श्री गणेश के कई पाठ बताए गए हैं मगर उनका एक पाठ बाधा दूर करने के लिए अचूक माना जाता है। ज्योतिष एक्सपर्ट डॉ राधाकांत वत्स से आइये जानते हैं इस पाठ और उससे मिलने वाले लाभ के बारे में।
श्री गणेश का अथर्वशीर्ष पाठ
।। अथ श्री गणपति अथर्वशीर्ष स्तुति ।।
ॐ नमस्ते गणपतये।
त्वमेव प्रत्यक्षं तत्वमसि।।त्वमेव केवलं कर्त्ताऽसि। त्वमेव केवलं धर्तासि।।त्वमेव केवलं हर्ताऽसि।
त्वमेव सर्वं खल्विदं ब्रह्मासि।।त्वं साक्षादत्मासि नित्यम्। ऋतं वच्मि।। सत्यं वच्मि।।अव त्वं मां।। अव वक्तारं।।
अव श्रोतारं। अवदातारं।।अव धातारम अवानूचानमवशिष्यं।। अव पश्चातात्।। अवं पुरस्तात्।।अवोत्तरातात्।। अव दक्षिणात्तात्।।
अव चोर्ध्वात्तात।। अवाधरात्तात।।सर्वतो मां पाहिपाहि समंतात्।। त्वं वाङग्मयचस्त्वं चिन्मय।त्वं वाङग्मयचस्त्वं ब्रह्ममय:।।
त्वं सच्चिदानंदा द्वितियोऽसि।त्वं प्रत्यक्षं ब्रह्मासि। त्वं ज्ञानमयो विज्ञानमयोऽसि।।सर्व जगदिदं त्वत्तो जायते।
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सर्व जगदिदं त्वत्तस्तिष्ठति।सर्व जगदिदं त्वयि लयमेष्यति।। सर्व जगदिदं त्वयि प्रत्येति।।त्वं भूमिरापोनलोऽनिलो नभ:।।
त्वं चत्वारिवाक्पदानी।।त्वं गुणयत्रयातीत: त्वमवस्थात्रयातीत:। त्वं देहत्रयातीत: त्वं कालत्रयातीत:।त्वं मूलाधार स्थितोऽसि नित्यं।
त्वं शक्ति त्रयात्मक:।।त्वां योगिनो ध्यायंति नित्यम्। त्वं शक्तित्रयात्मक:।।त्वां योगिनो ध्यायंति नित्यं।
त्वं ब्रह्मा त्वं विष्णुस्त्वं रुद्रस्त्वं इन्द्रस्त्वं अग्निस्त्वं। वायुस्त्वं सूर्यस्त्वं चंद्रमास्त्वं ब्रह्मभूर्भुव: स्वरोम्।।
गणादिं पूर्वमुच्चार्य वर्णादिं तदनंतरं।।अनुस्वार: परतर:।। अर्धेन्दुलसितं।।तारेण ऋद्धं।। एतत्तव मनुस्वरूपं।।
गकार: पूर्व रूपं अकारो मध्यरूपं। अनुस्वारश्चान्त्य रूपं।। बिन्दुरूत्तर रूपं।।
नाद: संधानं।। संहिता संधि: सैषा गणेश विद्या।। गणक ऋषि: निचृद्रायत्रीछंद:।। गणपति देवता।।
ॐ गं गणपतये नम:।।
श्री गणेश के अथर्वशीर्ष पाठ के लाभ
- श्री गणेश का अथर्वशीर्ष पाठ करने से राहु, केतु और शनि का अशुभ प्रभाव कम हो जाता है।
- श्री गणेश का अथर्वशीर्ष पाठ करने से ग्रह दोष (ग्रह दोष लगने के कारण) नहीं लगता है और ग्रह शांत रहते हैं।
- श्री गणेश का अथर्वशीर्ष पाठ करने से दुखों का अंत होता है और सभी सुखों की प्राप्ति होती है।
- श्री गणेश का अथर्वशीर्ष पाठ करने से बच्चों का पढ़ाई में मन लगने लगता है।
- श्री गणेश का अथर्वशीर्ष पाठ करने से ध्यान केंद्रित होता है और मैडिटेशन पॉवर बढ़ता है।
- श्री गणेश का अथर्वशीर्ष पाठ करने से आत्मविश्वास (आत्मविश्वास बढ़ाने के उपाय) बढ़ता है और मानसिक शांति मिलती है।
- श्री गणेश का अथर्वशीर्ष पाठ करने से जीवन में स्थिरता आती है और रुकावटें दूर होती हैं।
तो ये है श्री गणेश का वो पाठ जिसे करने से न सिर्फ जीवन की हर बाधा दूर होती है बल्कि सुखों की प्राप्ति भी होती है। अगर हमारी स्टोरीज से जुड़े आपके कुछ सवाल हैं, तो वो आप हमें आर्टिकल के नीचे दिए कमेंट बॉक्स में बताएं। हम आप तक सही जानकारी पहुंचाने का प्रयास करते रहेंगे। अगर आपको ये स्टोरी अच्छी लगी है, तो इसे शेयर जरूर करें। ऐसी ही अन्य स्टोरी पढ़ने के लिए जुड़ी रहें हरजिंदगी से।
Image Credit: freepik, pinterest
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