Women's Day 2023: 16 हजार किलोमीटर बिना रुके जहाज उड़ाकर जोया अग्रवाल ऐसे बनी पायलट, आप भी लें इंस्पिरेशन

जोया अग्रवाल उन महिलाओं में से हैं जिन्होंने कड़ी मेहनत करके समाज में अपनी एक अलग पहचान बनाई है। तो चलिए जानते हैं उनकी इंस्पिरेशनल स्टोरी के बारे में। 

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असमान में उड़ान भरने के लिए कई लोग सपना देखते हैं उनमें से कुछ लोगों का ही पायलट बनने का सपना पूरा होता है लेकिन बहुत कम लोग ऐसे होते हैं जो पायलट बनने के बाद देश का नाम भी रौशन कर पाते हैं।

आज हम आपको एक ऐसी महिला के बारे में बताएंगे जिन्होंने साल 2015 में एक पैसेंजर की जान बचाने के लिए न्यूयॉर्क के रास्ते से हवाई जहाज को घुमाकर वापस दिल्ली लौटा लिया था। इसके अलावा भी उन्होंने अपने जीवन में कई मुकाम हासिल किए हैं जो नारी शक्ति दिया दर्शाता है। तो चलिए जानते हैं जोया अग्रवाल के जीवन के बारे में।

कौन हैं जोया अग्रवाल?

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आपको बता दें कि जोया अग्रवाल बचपन से ही पायलट बनना चाहती थी। वह अपने पेरेंट्स की एक लौती संतान हैं। जोया ने अपनी पढ़ाई पूरी करने के बाद जब अपनी मां को यह बताया कि वह पायलट बनना चाहती हैं तो उनकी मां परेशान हो गई थी लेकिन कुछ समय बाद उनकी मां ने उनके करियर में साथ दिया।

जोया ने साल 2013 में पायलट बनकर अपने माता-पिता का सपना पूरा किया। जोया के पास कई घंटों की उड़ान का एक्सपीरियंस है। आपको बता दें कि जोया अग्रवाल साल 2013 में बोइंग एयरक्राफ्ट उड़ाने वाली भारत की सबसे कम उम्र की महिला पायलट भी हैं।(अकेले फाइटर प्लेन उड़ाकर अवनी ने रचा इतिहास, अब भारत में महिलाएं भी बनेंगी फाइटर पायलट)

उन्होंने एयर इंडिया को भी ज्वाइन किया था। इतना ही नहीं जोया अग्रवाल ने बतौर कमांडर B-777हवाई जहाज भी उड़ाया है। इस जहाज को करीब 10 साल से भी अधिक उड़ाने का अनुभव है।

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यह अनुभव था खास

जोया के जीवन में एक ऐसा अनुभव भी था जिसे वह बहुत भाग्यशाली भी मानती हैं। उन्होंने एक इंटरव्यू में यह बताया था कि 'दुनियाभर में ज्यादातर लोग अपनी जिंदगी में नॉर्थ पोल या इसका नक्शा भी नहीं देख पाते हैं लेकिन नागरिक उड्डयन मंत्रालय और हमारे फ्लैग कैरियर ने मुझ पर भरोसा जताया था और नॉर्थ पोल के ऊपर से सैन फ्रैंसिस्को से बेंगलुरु तक दुनिया की सबसे लंबी और बोइंग 777 से पहली उड़ान को कमांड करने का मौका उन्हें दिया।'

इसके अलावा साल 2015 में जब उन्होंने एक पैसेंजर की जान बचाने के लिए न्यूयॉर्क से हवाई जहाज घुमाकर वापस दिल्ली लाई थी। इसके बाद उन्हें कई पहाड़ी उड़ानों के लिए भी चुना गया।(जानें गणतंत्र दिवस की परेड में भाग लेने वाली पहली महिला फाइटर पायलट भावना कंठ के बारे में)

आपको बता दें कि जोया को यूनाइटेड नेशन ने जनरेशन इक्वेलिटी मिशन का स्पोकपर्सन भी बनाया है। ऑल वुमन कॉकपिट क्रू में भी जोया का नाम दर्ज है।

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एयर इंडिया में काम करने का अनुभव

आपको बता दें कि जोया ने जब एयर इंडिया को ज्वाइन किया था तो उस समय वहां बहुत ही कम महिला पायलट थी। उन्हें पुरुषों की संख्या इस क्षेत्र में अधिक दिखाई देती थी।

एयर इंडिया में जोया कमर्शियल पायलट और कमांडर हैं। जोया ने अपने एक इंटरव्यू में यह भी कहा कि 'खुद पर विश्वास करना सबसे जरूरी होता है और कड़ी मेहनत करके अपने लक्ष्य को हासिल किया जा सकता है।'

सपने देखना सबके बस में होता है लेकिन उन सपनों के लिए पूरी मेहनत करना यह उस सपने देखने वाले पर निर्भर करता है। आपको जोया की इंस्पिरेशनल स्टोरी कैसी लगी हमें कमेंट करके बताएं। अगर आपको यह स्टोरी अच्छी लगी हो तो इसे फेसबुक पर जरूर शेयर करें और इसी तरह के अन्य लेख पढ़ने के लिए जुड़ी रहें आपकी अपनी वेबसाइट हरजिन्दगी के साथ। इस आर्टिकल के बारे में अपनी राय आप हमें कमेंट बॉक्स में जरूर बताएं।

image credit- freepik

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