जायफल किचन में इस्तेमाल किया जाने वाला एक ऐसा मसाला है जो खाने का स्वाद और खुशबू दोनों बढ़ा देता है। इसकी मीठी सुगंध के लिए जायफल को किचन में अलग महत्व दिया जाता है। यह दुनिया का एकमात्र उष्णकटिबंधीय पेड़ भी है जिसे दो अलग-अलग मसालों जायफल और जावित्री के रूप में जाना जाता है। भारत में, यह आमतौर पर यह केरल में पाया जाता है। स्थानीय लोग इसका उपयोग नॉन वेज खानों और डेसर्ट का स्वाद बढ़ाने के लिए करते हैं।
लेकिन क्या आप जानते हैं कि जायफल स्वास्थ्य के लिए भी बहुत ज्यादा लाभकारी है। जायफल मैग्नीशियम, मैंगनीज, तांबा, बी 1 और बी 6 जैसे कई खनिजों से भरपूर होता है, जो आपके स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद होते हैं। इसमें उच्च मात्रा में एंटीऑक्सिडेंट और एंटी-बैक्टीरियल गुण भी होते हैं जो पाचन को बढ़ावा दे सकते हैं और इसके अलावा यह निर्दोष त्वचा प्राप्त करने में भी मदद करता है। आइये आपको बताते हैं इसके स्वास्थ्य लाभ के बारे में।
जोड़ों के दर्द के लिए फायदेमंद
जायफल में कई आवश्यक तेल होते हैं जैसे कि मिरिस्टिसिन, एलिमिनिन, यूजेनॉल और सेफोल। इसके वाष्पशील तेलों में एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण होते हैं जो जोड़ों और मांसपेशियों के दर्द(घुटनों के दर्द के कारण) के इलाज के लिए इसे उपयोगी बनाते हैं। दर्द से प्रभावित क्षेत्र पर जायफल के तेल की बस कुछ बूंदों को लगाने से सूजन, जोड़ों के दर्द, मांसपेशियों में दर्द और किसी भी चोट में आराम मिलता है।
अनिद्रा के इलाज में मदद करता है
जायफल की थोड़ी सी मात्रा का सेवन अच्छी नींद के लिए प्रेरित करता है। ये मानसिक तनाव को कम करता है और अनिद्रा की समस्या को दूर करता है। आयुर्वेद के अनुसार, आपको एक जायफल को घिसकर इसके एक्सट्रेक्ट को एक गिलास गर्म दूध में मिलाकर रात को सोने से पहले पीना चाहिए जिससे अच्छी नींद प्राप्त हो सके।
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पाचन में मदद करता है
जायफल में आवश्यक तेल होते हैं जो हमारे डाइजेस्टिव सिस्टम पर एक अच्छा प्रभाव डालते हैं। इसलिए यदि आप दस्त, कब्ज, पेट फूलना या गैस जैसी पाचन संबंधी समस्याओं से पीड़ित हैं, तो एक घरेलू उपाय है कि आप एक चुटकी जायफल का सेवन किसी भी रूप में करें। आप इसे हल्के गुनगुने पानी में घोलकर पी सकते हैं। यह पाचन एंजाइमों के स्राव में मदद करता है और इसमें मौजूद फाइबर तत्व पेट साफ़ करने में मदद करते हैं। छोटे बच्चों को भी गैस की समस्या होने पर जायफल घिसकर दूध के साथ दिया जाता है।
सांसों की बदबू का इलाज करे
सांस की बदबू इस बात का संकेत होती है कि आपके पाचन तंत्र और शरीर में कुछ टॉक्सिन्स मौजूद हैं। जायफल को शरीर को डिटॉक्सीफाई करने के लिए इस्तेमाल में लाया जाता है। जायफल लीवर और किडनी से विषाक्त पदार्थों को बाहर निकालता है। चूंकि इसके आवश्यक तेलों में एंटी-बैक्टीरियल गुण होते हैं, यह मुंह से उन बैक्टीरिया को हटाने में मदद करता है जो खराब सांस लेने के लिए जिम्मेदार होते हैं। यह आमतौर पर आयुर्वेदिक टूथपेस्ट और गम पेस्ट के लिए एक घटक के रूप में उपयोग किया जाता है। आवश्यक तेल यूजेनॉल दांतों के दर्द से राहत देने में मदद करता है।
त्वचा को ग्लोइंग बनाए
जायफल एंटी-माइक्रोबियल और एंटी-इंफ्लेमेटरी गुणों के साथ-साथ ब्लैकहेड्स को हटाने, मुँहासे का इलाज करने की वजह से स्किनकेयर के लिए एक अच्छा तत्व है। एक सामान्य घरेलू उपाय के रूप में इसका इस्तेमाल शहद के साथ किया जाता है। इसके लिए जायफल पाउडर और शहद के बराबर भागों को मिलाकर एक पेस्ट बनाएं और इसे पिम्पल्स पर लगाएं। इसे 20 मिनट के लिए छोड़ दें और फिर इसे हल्के गुनगुने पानी से धो लें। आप जायफल पाउडर और दूध की कुछ बूंदों का उपयोग करके भी एक पेस्ट बना सकती हैं और अपनी त्वचा पर इसे इस्तेमाल कर सकती हैं।
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ब्लड प्रेशर नियंत्रित करे
इसकी हाई मिनरल प्रॉपर्टी रक्त परिसंचरण और दबाव को विनियमित करने के लिए जायफल को एक अच्छा घटक बनाती है। इसमें कैल्शियम, आयरन, पोटेशियम, मैंगनीज आदि तत्व शामिल हैं, जो शरीर में विभिन्न कार्यों के लिए आवश्यक हैं। यह तनाव को कम करने वाले गुणों से भरपूर होता है और रक्त वाहिकाओं को आराम देने में मदद करता है।
ऐसी कई विशेषताओं की वजह से जायफल का सेवन स्वास्थ्य के लिए अत्यंत लाभकारी है। अगर आपको यह लेख अच्छा लगा हो तो इसे शेयर जरूर करें व इसी तरह के अन्य लेख पढ़ने के लिए जुड़ी रहें आपकी अपनी वेबसाइट हरजिन्दगी के साथ।
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Image Credit: free pik
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