हर माता-पिता की यह इच्छा होती है कि उनका बच्चा अधिक सेहतमंद बने और इसके लिए वह बच्चे के खानपान का पूरा ख्याल रखते हैं। वह बच्चे को हर वह पोषक तत्व देना चाहते हैं, जो उनके संपूर्ण विकास में मदद करे। लेकिन कभी-कभी यह देखने में आता है कि बच्चों को न्यूट्रिशन फूड खिलाने के चक्कर में वह कुछ ऐसी गलतियां कर बैठते हैं, जिससे ना केवल बच्चों की सेहत पर विपरीत असर होता है, बल्कि बच्चों के मन में आहार और पोषण को लेकर भी गलत धारणा बनने लग जाती है।
इस स्थिति में, बच्चों की सेहत पर पड़ने वाला विपरीत असर क्षणिक नहीं होता, बल्कि इससे उन्हें आगे तक चलकर काफी नुकसान उठाना पड़ सकता है। दरअसल, जब बच्चे न्यूट्रिशन रिच फूड के कॉन्सेप्ट को ही नहीं समझ पाते या फिर उसे मिरअंडरस्टैंड कर लेते हैं तो इससे उन्हें आगे तक काफी नुकसान होता है। तो चलिए आज इस लेख में सेंट्रल गवर्नमेंट हॉस्पिटल के ईएसआईसी अस्पताल की डायटीशियन रितु पुरी आपको कुछ ऐसी ही न्यूट्रिशन मिसटेक्स के बारे में बता रही हैं, जो अक्सर पैरेंट्स अनजाने में कर बैठते हैं-
गुड और बैड फूड जैसे शब्दों का इस्तेमाल करना
यह पैरेंट्स द्वारा की जाने वाला एक बेहद कॉमन मिसटेक है। दरअसल, हम सभी बच्चों को हेल्दी फूड खिलाना चाहते हैं और इसलिए अक्सर हम उन्हें खाने के लिए रोकते-टोकते हैं और उन्हें यह कहते हैं कि इसे मत खाओ, यह बैड फूड है या फिर आपको यह फूड आइटम खाने चाहिए, क्योंकि यह हेल्थ के लिए अच्छे हैं। हालांकि, इस स्थिति में बच्चे कई बार अनहेल्दी फूड को ही एन्जॉय करने लगते हैं। बेहतर होगा कि आप गुड फूड और बैड फूड कहकर खाने में अंतर करने की जगह उन्हें यह समझाएं कि हेल्दी फूड वास्तव में उनके लिए अच्छा क्यों है। मसलन, आप उन्हें अगर दूध दे रही हैं तो साथ ही साथ उन्हें यह भी बताएं कि इसमें कैल्शियम होता है, जो उनके दांतों व हड्डियों को मजबूती देगा।
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अनहेल्दी स्नैक्स देना
कई बार ऐसा भी होता है कि जब बच्चे खाना नहीं खाते हैं तो उन्हें खाना खिलाने के चक्कर में कुछ अनहेल्दी स्नैक्स जैसे बिस्कुट, किड्स बार आदि खाने के लिए दे देते हैं। उन्हें लगता है कि इससे बच्चे का पेट भर रहा है। लेकिन इन सभी चीजों में सोडियम व फैट काफी अधिक मात्रा में पाया जाता है, जो उनकी सेहत पर विपरीत प्रभाव डालता है।
डाइट ट्रेंड को फॉलो करना
अक्सर बच्चों को अधिक हेल्दी बनाने के चक्कर में कुछ पैरेंट्स मार्केट में चलने वाले डाइट ट्रेंड को भी बिना सोचे-समझे फॉलो करने लग जाते हैं। मसलन, कई बार वह बच्चों के लिए डिजाइन्ड ट्रेंडी हाई कार्ब डाइट, लो फैट डाइट और कीटो डाइट उन्हें देने लग जाते हैं। लेकिन हर बच्चे के लिए यह सही नहीं होती, जिससे उन्हें नुकसान ही होता है। बेहतर होगा कि आप आंख मूंदकर किसी डाइट को फॉलो करने की जगह बच्चे को संतुलित आहार दें।
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फूड लेबल को ना पढ़ना
आजकल बच्चे के लिए मार्केट में कई तरह के फूड आइटम्स अवेलेबल हैं, जिनके पैक पर हेल्दी शब्द का इस्तेमाल किया गया होता है। ऐसे में पैरेंट्स उसे लेबल को अच्छी तरह से नहीं पढ़ते और यह समझते हैं कि यह उनके बच्चे के लिए अच्छा है और वह उसे बच्चे को देना शुरू कर देते हैं। लेकिन आपको यह गलती नहीं करनी चाहिए। दरअसल, अगर आप पैकेट के लेबल को पढ़ेंगी तो आप पाएंगी कि उसमें अन्य भी कई चीजों को शामिल किया गया है, जो आपके बच्चे की सेहत के लिए बिल्कुल भी ठीक नहीं है और इसलिए आपको उसे अवॉयड ही करना चाहिए।
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