भारत का इतिहास काफी रोचक रहा है। यहां की संस्कृति, खान-पान, ऐतिहासिक जगहों की अपनी अलग पहचान है। हालांकि, हमें कुछ चीजों के बारे में मालूमात होती है, वहीं कुछ चीजों से अनजान रहते हैं। ऐसे ही भारत के कुछ किले हैं, जो न सिर्फ ऐतिहासिक हैं बल्कि उनका इतिहास भी काफी प्राचीन है और इनमें से कुछ किले के बारे में लोगों को मालूम ही नहीं है कि उनका क्या इतिहास है और उनकी क्या ऐतिहासिक पृष्ठभूमि रही है।
इसी लिस्ट में किला मुबारक भी आता है, जिसके बारे में बहुत कम लोग जानते हैं। बता दें कि यह मुबारक किला का नाम रजिया सुल्तान से जुड़ा हुआ है। तो देर किस बात की आइए जानते हैं कि इस किले की क्या खासियत है और यह कहां स्थित है।
किले के बारे में जानें
कहा जाता है कि इस किले का निमार्ण 90 से 110 ईस्वी के बीच किया गया था। इसके संस्थापक राजा डब थे जो वेना पाल के पूर्वज थे। इस किला मुबारक ने कई लड़ाइयों और आक्रमणों को अंजाम दिया गया। इसलिए यह किला बठिंडा का एक बहुत ही महत्वपूर्ण ऐतिहासिक स्थल है।
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बता दें कि इसे प्राचीन में तबार-ए-हिंद या भारत के प्रवेश द्वार के रूप में जाना जाता था। इस किले का निर्माण सिखों के दसवें गुरु, गुरु गोविंद सिंह ने भी इस स्थल का दौरा किया था।
किले की संरचना
अगर हम बात करें इसकी वास्तुकला की, तो आपको बता दें कि इस किले की वास्तुकला में इस्लामी शैली में निर्मित की गई है। किला मुबारक भारत के सबसे ऊंचे किलों में से एक है, जिसकी ऊंचाई 118 फीट है। इसके मुख्य परिसर के अंदर दो गुरुद्वारे भी हैं। इस किले को छोटी ईंटों से बनाया गया है।
क्या है खासियत?
यह किला बहुत ही खास है, लेकिन इसके खास होने की एक वजह और है। कहते हैं कि 1239 में इस किले में रजिया सुल्तान या सुल्तान को उनके ही सेवक अल्तुनिया ने बंदी बना दिया था। रजिया सुल्ताना मुस्लिम एवं तुर्की इतिहास की पहली महिला शासक थीं। इसी वजह से इस किले को रजिया सुल्तान किला के नाम से भी जाना जाता है। (बीकानेर में हैं तो इन पांच फोर्ट को एक बार देखें जरूर)
कैसे जाएं?
अगर आप इस किले को एक्सप्लोर करना चाहते हैं, तो बेहतर होगा कि रेलवे स्टेशन से जाएं क्योंकि यह बठिंडा के बहुत पास है। इसके बाद, आप ऑटो से जा सकते हैं। वर्ना फ्लाइट से आप सीधा बठिंडा जाएं और वहां से टेक्सी करके किले को घूमने के लिए पहुंचें।
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किस टाइम जाएं?
अगर आप किला मुबारक घूमने जा रहे हैं, तो ठंडे मौसम में जाएं। इस बात का ध्यान रखें कि 9 बजे से शाम 5 बजे तक ही खुलाता है। आप इस दौरान कभी भी घूमने के लिए जा सकते हैं।
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Image Credit- (@Freepik)
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