आजकल महिला सशक्तिकरण पर काफी जोर दिया जा रहा है। अब महिलाओं के हक को लेकर लोग काफी सचेत हुए हैं और अब उन्हें भी समान अवसर दिए जाने लगे हैं। वहीं दूसरी ओर, महिलाओं ने भी अपने हुनर व काबिलियत का परिचय पूरे विश्व के सामने रखा है। प्राचीन काल से लेकर आधुनिक काल तक इस बात का इतिहास गवाह है कि महिलाएं समाज में किसी ना किसी स्तर पर अपना पूर्ण योगदान देती आई हैं।
आपने यकीनन कई राजा-महाराजा की कहानियां सुनी होंगी, लेकिन आज हम आपको इतिहास की कुछ हसीन महिलाओं के बारे में जानकारी दे रहे हैं, जिनकी न सिर्फ बहादुरी बल्कि खूबसूरती के भी लोग दीवाने थे। तो देर किस बात की आइए जानते हैं भारत की खूबसूरत रानियों के बारे में।
महारानी गायत्री देवी
इतिहास की हसीन महिलाओं महारानी गायत्री देवी का नाम आता है। हालांकि, भारत में महिलाओं की स्थिति मजबूत बनाने के लिए महारानी गायत्री देवी का भी बहुत बड़ा योगदान रहा है। महारानी गायत्री देवी शाही परिवार से थीं। (मुगल काल में पर्दे के पीछे शासन करने वाली महिला)
शादी के बाद उन्होंने न केवल परिवार बल्कि अपने राज्य को भी संभाला। बता दें कि गायत्री देवी जयपुर की महारानी थीं। गायत्री देवी अपनी स्ट्रांग पर्सनालिटी के साथ-साथ खूबसूरती के लिए जानी जाती थीं। कहा जाता था कि उन्हें मेकअप की भी जरूरत नहीं होती थी।
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महारानी सीता देवी
जब भी इंडियन रॉयल्टी की बात होती है तो महारानी सीता देवी का नाम स्पेशल तौर पर लिया जाता है। सीता देवी बड़ौदा के महाराज पीठापुरम की बेटी थीं। उनका जन्म मद्रास में 1917 में हुआ था और आगे जाकर ये दुनिया की सबसे खूबसूरत महिला बनीं। (महाराणा प्रताप की शक्तिशाली रानियों)
महारानी सीता देवी की शादी ब्यूरो के जमींदार से हुई थी, लेकिन बाद में इन्हें बड़ौदा के महाराज प्रताप सिंह से प्यार हो गया था। कहा जाता है कि उनकी पर्सनालिटी की ही तरह उनके साड़ियों के कलेक्शन, ज्वेलरी के कलेक्शन भी बहुत प्यारा था, जो आज तक फैशन ट्रेंड का हिस्सा हैं।
रानी पद्मिनी
रानी पद्मिनी का नाम भी इतिहास की सबसे खूबसूरत महिलाओं में आता है। बता दें कि रानी पद्मिनी को पद्मावती के नाम से भी जाना भी जाता है, जो चित्तौड़ के राजा रावल रतन सिंह के शासक की पत्नी थीं। कहा जाता है कि रानी पद्मिनी ने आग की लपटों में कूदकर आत्महत्या कर ली थी। मगर इस राजपूत रानी के नाम का ऐतिहासिक अस्तित्व बहुत गौरवशाली थीं।
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रानी लक्ष्मीबाई
इतिहास की हसीन और बहादुर महिलाओं में रानी लक्ष्मीबाई का नाम भी शामिल है। रानी लक्ष्मीबाईका जन्म 19 नवंबर 1828 को वाराणसी के एक मराठी ब्राह्मण परिवार में हुआ था। उनका बचपन का नाम मणिकर्णिका था, लोग उन्हें इसी नाम से पुकारा करते थे। लक्ष्मीबाई जब 4 साल की थीं तब उनकी मां का देहांत हो गया था।
इसके बाद वह अपने पिता मोरोपंत के साथ बिठूर आ गई थीं। मणिकर्णिका की परवरिश भी पेशवाओं के बीच हुई। इसलिए बचपन से ही मणिकर्णिका बहुत साहसी और तेज दिमाग की थीं।
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Image Credit- (@Shutterstock and Wikipedia)
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