अब महिला सशक्तिकरण पर काफी जोर दिया जाने लगा है। हम महिलाओं के हक को लेकर काफी सचेत हुए हैं। अब उन्हें भी समान अवसर दिए जाने लगे हैं। वहीं दूसरी ओर, महिलाओं ने भी अपने हुनर व काबिलियत का परिचय पूरे विश्व के सामने रखा है।
प्राचीन काल से लेकर आधुनिक काल तक इस बात का इतिहास गवाह है कि महिलाएं समाज में किसी ना किसी स्तर पर अपना पूर्ण योगदान देती आई हैं। इसी लिस्ट में चांद बीबी का नाम भी आता है। चांद बीबी साहसी महिला के तौर पर जानी जाती हैं, जिन्होंने मुगल सेना का निडर होकर सामना किया था।
यही वजह है कि हम अपनी सीरीज 'वुमन ऑफ हिस्ट्री' में चांद बीबी से जुड़े किस्से लेकर आए हैं, जिनके बारे में बहुत कम लोग जानते हैं।
कौन थीं चांद बीबी?
चांद बीबी इतिहास की एक मशहूर महिला हैं, जिनका जन्म सन् 1550 में अहमदनगर हुआ था। हालांकि। इनके जन्म को लेकर इतिहासकारों में मतभेद है। कई इतिहासकारों का मानना है कि चांद बीबी का जन्म 1500 में हुआ था। कहा जाता है कि चांद बीबी को चांद खातून। चांद सुल्ताना के नाम से भी जाना जाता था।
इसे जरूर पढ़ें-70 साल से ब्रिटेन की महारानी रहीं क्वीन एलिजाबेथ II का निधन, दुनिया भर से आए सांत्वना के बोल
चांद बीबी ने किया अहमदनगर पर राज
चांद बीबी अहमदनगर के बादशाह हुसैन निजाम शाह प्रथमके घर पैदा हुई थीं। जब चांद बीबी छोटी थीं, तो हुसैन निजाम शाह प्रथम चल बसे। इसके बाद चांद बीबी ने ही अहमदनगर का राजकाज संभालने का काम किया। राजघराने में परवरिश होने के चलते चांद बीबी ने अच्छी घुड़सवारी सीखी, तलवार चलाना, फारसी, अरबी और मराठी भाषा भी सीखी।
चांद बीबी की शादी किस्से हुई थी?
कहा जाता है कि चांद बीबी की शादी बहुत कम उम्र में ही करवा दी गई थी। चांद बीबी का निकाह बीजापुर सल्तनत के अली आदिल शाह प्रथम से करवा दिया गया था। जब चांद बीबी की उम्र 14 साल की थी, पर कुछ सालों बाद उनके पति की भी मौत हो गई थी। अली आदिल शाह प्रथम की वजह पर उनके भतीजे इब्राहीम आदिल शाह को गद्दी पर बैठाया गया। साथ ही, चांद बीबी को राज्य-संरक्षक के पद पर बैठा दिया गया।
चांद बीबी और मुगलों का संबंध
उस वक्त मुगलों का राज हुआ करता था और बादशाह अपना साम्राज्य बढ़ाने के लिए राज्यों से हाथ मिला रहे थे। दक्षिण भारत के कुल राज्य मुगलों के अधीन हो गए थे। मगर चांद बीबी मुगलों के आगे नहीं झुकी और मुगल बादशाह अकबरका प्रस्ताव ठुकरा दिया।
हालांकि, अकबर ने कई सालों तक अहमदनगर के किले को फतह करने की कोशिश की। आखिर तक चांद बीबी मुगलों को मात देने में जुटी रहीं, लेकिन उनके विश्वसनीय सेनापति मुहम्मद खान ने मुगलों से हाथ मिला लिया और अकबर ने विजय हासिल कर ली।
इसे जरूर पढ़ें-बेइंतहा खूबसूरत थीं मुगल शासकों की ये हिंदू रानियां, जानें रोचक तथ्य
चांद बीबी की हत्या किसने की थी?
चांद बीबी की हत्या को लेकर इतिहासकारों में मतभेद है। कुछ विद्वानों के अनुसार उनकी हत्या हामिद खान ने की थी। कुछ इतिहासकारों का मानना है कि जीता खान ने चांद बीबी को मारा था, जो उन्हीं का का एक एक हिंजड़ा सेवक था।
अगर आपको यह लेख अच्छा लगा हो तो इसे शेयर जरूर करें व इसी तरह के अन्य लख पढ़ने के लिए जुड़ी रहें आपकी अपनी वेबसाइट हरजिन्दगी के साथ।
Image Credit- (@Freepik)
HerZindagi ऐप के साथ पाएं हेल्थ, फिटनेस और ब्यूटी से जुड़ी हर जानकारी, सीधे आपके फोन पर! आज ही डाउनलोड करें और बनाएं अपनी जिंदगी को और बेहतर!
कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों