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International Yoga Day Facts 2024: कैसे हुआ योग का जन्म, कौन हैं आधुनिक योग के जनक? जानें रोचक बातें

हर साल 21 जून को विश्व योग दिवस मनाया जाता है, लेकिन क्या आपको पता है कि योग की शुरुआत कैसे हुई और कौन आधुनिक योग के जनक माने जाते हैं।
Editorial
Updated:- 2024-06-20, 16:25 IST

अंतरराष्ट्रीय योग दिवस हर साल 21 जून को धूमधाम से मनाया जाता है। इसकी शुरुआत 2015 में पहली बार हुई थी। हम सभी जानते हैं कि मानव शरीर और मन को स्वस्थ बनाए रखने के लिए योग एक उत्तम साधन है। अब, आपके मन में सवाल ये आ रहा होगा कि आखिर ये योग का जन्म हुआ कैसे? सबसे पहले इसका प्रचार और प्रसार किसने किया था? योग के जनक कौन हैं? आइए हम आपको अंतरराष्ट्रीय योग दिवस के अवसर पर इन सवालों के जवाब बताते हैं। 

योग का जन्म कैसे हुआ ?

भगवान शिव को आदियोगी कहा गया है। माना जाता है कि उनसे ही योग की उत्पत्ति हुई है। कहा जाता है कि हिमालय की चोटियों पर आज से करीब 15000 साल पहले एक योगी प्रकट हुए थे। उनके जन्म या अतीत के बारे में लोगों को कुछ भी जानकारी नहीं थी। सभी लोग उनके चारों ओर बैठकर प्रतीक्षा करने लगे कि वे कुछ बोलेंगे, लेकिन उन्होंने कुछ नहीं बोला। वे सिर्फ ध्यान में बैठे रहें। इसी तरह वे कई महीनों तक बैठे रहें। 

आधुनिक योग के जनक कौन हैं?

yoga history and significance

5000 साल पहले महर्षि पतंजलि ने योग सूत्र की रचना की थी, जो योग दर्शन का मूल ग्रंथ है। इसलिए उन्हें आधुनिक योग का जनक कहा जाता है। पतंजलि ने ही योग को आमजनों तक सहज रूप से पहुंचाने का काम किया है। शोधकर्ताओं के मानना है कि गोंदरमऊ में ही महर्षि पतंजलि ने संसार के पहले योग ग्रंथ अष्टांग योग की रचना की थी। इस ग्रंथ में योग के बारे में काफी विस्तार से बताया गया है। बता दें, महर्षि पतंजलि को पाणिनी का शिष्य भी कहते हैं।

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शेषनाग का अवतार मानते हैं लोग

धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, महर्षि पतंजलि को शेषनाग का अवतार भी माना जाता है। ऋषि को नाग से बालक होने के कारण उन्हें शेषनाग का अवतार माना जाता है। उनका नाम पतंजलि रखे जाने के पीछे भी एक कहानी है। दरअसल, महर्षि का जन्म माता के अंजुली के जल के सहारे धरती पर नाग बालक के रूप में हुआ था और माता गोणिका के अंजुली से पतन होने की वजह से उन्होंने उनका नाम पतंजलि रखा था।

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