महिलाओं को ज्वेलरी पहनना अच्छा लगता है लेकिन पोयम काबरा ना सिर्फ ज्वेलरी पहनती हैं बल्कि उसे बनाती भी हैं। खुद की शादी के दौरान उन्होंने ऑनलाइन मिलने वाली ज्वेलरी की कमी महसूस की और फिर खुद का ब्रांड बनाने का फैसला लिया। इस दौरान उन्हें बहुत सारी समस्याओं और रूढ़िवादी बातों का सामना करना पड़ा और इस आर्टिकल में हम आपको उन्ही का सफरनामा बताने वाले हैं।
पारिवारिक माहौल से ली व्यवसाय की सीख
पोयम काबरा मारवाड़ी परिवार से हैं और उन्होंने IIT दिल्ली और IIM लखनऊ से पढ़ाई की है। शुरुआत से अपने परिवार के सदस्यों को व्यवसाय करते देख बड़ी हुई पोयम काबरा ने बचपन से ही बिजनेस के गुण सीखने की शुरुआत कर दी थी। बिजनेस के साथ-साथ पोयम की फैशन में भी दिलचस्पी थी जिसे देख उन्होंने कुछ ऐसा करने का फैसला लिया जिसमें दोनों फील्ड को जोड़ा जा सके।
इसे भी पढ़ेंःHZ Exclusive: Schauna Chauhan का CEO बनना बताता है कि पिता के कारोबार को संभाल सकती हैं बेटियां
ज्वेलरी ब्रांड बनाने का कब लिया फैसला?
पोयम काबरा कहती हैं, "जब मैं अपनी शादी के लिए ज्वेलरी खरीद रही थी तो मैंने अधिकतर खरीदारी ऑफलाइन ही ली। मुझे एहसास हुआ कि मुझे ऐसे ब्रांड ऑनलाइन नहीं मिले जिस पर मैं गुणवत्ता और मूल्य निर्धारण के लिए भरोसा कर सकूं। मुझे कुछ पसंद आया भी तो उसकी गुणवत्ता और मूल्य सही नहीं होता था। मुझे याद है कि उस समय मैने ऑनलाइन 2 हजार रुपये का ब्रेसलेट लिया था जिसकी कीमत 400-500 रुपये से ज्यादा की नहीं थी। यही कुछ ऐसा था जिसने मुझे सोचने पर मजबूर किया।
2021 में हुई जाव्या की शुरुआत
View this post on Instagram
पोयम बताती हैं, "एक मिडल क्लास महिला अच्छे डिजाइन गुणवत्ता की ज्वेलरी को उचित मूल्य में लेना चाहती है। इसी विचार के साथ मेरी ज्वेलरी में दिलचस्पी शुरू हुई। जाहिर है कि यह एक फैशन का हिस्सा है इसलिए मैं इस काम को लंबे समय तक कर भी सकती हूं। मैंने ई-कॉमर्स को समझना शुरू किया, एक वेबसाइट बनाई और ई-कॉमर्स उत्पादों को समझना शुरू किया। इस दौरान में मैं बुरी तरह विफल हुई क्योंकि मुझे ई-कॉमर्स का बिल्कुल भी अंदाजा नहीं था कि चीजें कहां से शुरू होती हैं और कहां खत्म होती हैं।"
"इसके बाद मैंने प्रियासी नाम की कंपनी को 2019 जनवरी में सह-संस्थापक के रूप में ज्वाइन किया। यहां मैंने डेवलपमेंट, रीब्रांडिंग को समझते हुए कई परियोजनाओं पर काम किया। इससे मुझे ज्वेलरी और ई-कॉमर्स का बहुत अच्छी जानकारी मिली। कुल मिलाकर मुझे चांदी के गहनों की कमी का एहसास हुआ जिसके ऑनलाइन कोई विकल्प नहीं थे। यह एक बहुत ही नई श्रेणी थी जिसे अब आगे बढ़ाया जा रहा है। चांदी के गहने की दिलचस्प श्रेणी को दिमाग में रख कर ही 2021 में मैंने जाव्या की शुरुआत की।" - पोयम काबरा
लोगों के समर्थन की है कमी - पोयम काबरा
पोयम कहती हैं, "मुझे लगता है कि जब आप एक कंपनी या एक उद्यम शुरू करते हैं तो इसके अलग-अलग ढेर सारे वर्टिकल होते हैं। सैकड़ों चीजें ऐसी होती है जो समझ में नहीं आती है लेकिन, इसे समझने वाले एकमात्र व्यक्ति आप ही हैं। आपको बहुत सी चीजें करनी होंगी जिसके लिए आपको कम्फर्ट जोन से बाहर जाना होगा। जाहिर है जब आपको उस समर्थन और लोगों से विश्वास की जरूरत होती है। जब आप शुरुआत कर रहे होते हैं तो कोई भी समर्थन नहीं करता है। हमें एक कॉन्फिडेंस की जरूरत होती है जो कोई आगे आकर नहीं देता है।"
परिवार के सहयोग को बताया महत्वपूर्ण
पोयम ने कहा, "मैं बहुत भाग्यशाली हूं कि मेरे पास ऐसे परिवार और दोस्त हैं जो मुझे समझते हैं कि मैं क्या करना चाहती हूं। उन्होंने जितना हो सके मेरी मदद करने की कोशिश की। लेकिन फिर भी, मुझे लगता है कि यह बहुत मुश्किल है। यह एक बच्चे के बड़े होने जैसा है, जिसे शुरुआत में इतनी अधिक देखभाल और पोषण की आवश्यकता होती है।"
आखिर लोग क्यों करते हैं जज
पोयम ने रूढ़िवादी टिप्पणियों के बारे में बात करते हुए कहा, "लोगों की टिप्पणियां हो सकता है कि अब कम हो गई हो लेकिन शुरुआत में बहुत से लोग मुझे जज करते थे। जब मैं वेंडर्स से मिलने जाती थी तो उन्हें लगता है कि मैं फाउंडर नहीं हूं। कभी-कभी मुझे अपने पति के साथ आने के लिए कहा जाता था। मैं इस तरह की बातें सुनती हूं और मुझे यह रूढ़िवादी लगती है। मुझे लगता है कि मेरे पति ने मुझे हमेशा प्रोत्साहित किया है। हम अपनी जिम्मेदारियों को बहुत ही समान रूप से साझा करते हैं।"
इसे भी पढ़ेंःHZ Exclusive: 'वातावरण में ढलना नहीं बल्कि उसे बदलना है..' IAS सोनल गोयल ने दिया महिलाओं को ये संदेश
जाव्या नाम रखने के पीछे की वजह
View this post on Instagram
पोयम ने बताया कि जाव्या का अर्थ है एक सुंदर परी। इसके माध्यम से हम वो ग्राहकों के जीवन में एक अहम भूमिका निभाना चाहती हैं।
महिलाओं के लिए संदेश
पोयम ने अंत में कहा, "मुझे कई ऐसी महिलाओं ने संपर्क किया है जो उद्यमी बनना चाहती थीं लेकिन मुझे लगता है कि उनकी चिंता इसलिए है क्योंकि वो एक महिला हैं। किसी भी महिला उद्यमीको अपने विचार के बारे में और अधिक आश्वस्त होने की आवश्यकता है। थोड़ा और धैर्य रखने की आवश्यकता है। ऐसा नहीं है कि आप महिला हैं इसलिए चुनौतियां आईं, चुनौतियां निश्चित रूप से आएंगी लेकिन क्योंकि आप एक महिला हैं इसलिए चुनौतियां अधिक आएंगी जिसका हमे सामना करना है।"
अगर हमारी स्टोरी से जुड़े आपके कुछ सवाल हैं, तो वो आप हमें आर्टिकल के नीचे दिए कमेंट बॉक्स में बताएं। हम आप तक सही जानकारी पहुंचाने का प्रयास करते रहेंगे। अगर आपको ये स्टोरी अच्छी लगी है, तो इसे शेयर जरूर करें। ऐसी ही अन्य स्टोरी पढ़ने के लिए जुड़े रहें हर जिंदगी के साथ।
Photo Credit: HerZindagi
HerZindagi ऐप के साथ पाएं हेल्थ, फिटनेस और ब्यूटी से जुड़ी हर जानकारी, सीधे आपके फोन पर! आज ही डाउनलोड करें और बनाएं अपनी जिंदगी को और बेहतर!
कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों