सुबह की शुरुआत अगर हेल्दी ड्रिंक से हो जाए, तो दिनभर शरीर और डाइजेस्टिव सिस्टम अच्छा रहता है। मगर लोग चीनी से भरे नींबू पानी, एप्पल साइडर विनेगर या शहद वाली ग्रीन टी को हेल्दी मॉर्निंग ड्रिंक मानते हैं, जबकि ये चीजें हेल्थ को कोई फायदा नहीं पहुंचाती हैं।
पिछले कुछ समय में एक देसी ड्रिंक को लेकर काफी ज्यादा क्रेज बनता हुआ दिखा। सोशल मीडिया पर लोग कांजी की रेसिपीज और इसके हेल्थ बेनिफिट्स के बारे में बात कर रहे हैं।
काली गाजर या बीटरूट्स से बनी खट्टी कांजी को सेहत के लिए वरदान माना जा रहा है। यह अब हेल्थ लवर्स के लिए बेस्ट चॉइस बन रही है।
ऐसा माना जाता है कि खाली पेट कांजी पीने से न सिर्फ पेट साफ रहता है, बल्कि शरीर का pH बैलेंस भी सुधरता है, इम्युनिटी बेहतर होती है और गुड बैक्टीरिया बढ़ते हैं।
यही सवाल हमने मैक्स हॉस्पिटल में सीनियर न्यूट्रिशनिस्ट सीमा सिंह से किया तो उन्होंने बताया, "कांजी एक नेचुरल प्रोबायोटिक है। सुबह खाली पेट इसका सेवन पेट की गर्मी कम करता है, एसिडिटी में राहत देता है और माइक्रोबायोम को मजबूत करता है।"
चलिए इस लेख में जानते हैं कि इसे सुबह पीने से और क्या बेनिफिट्स मिलते हैं और इसे कैसे पिया जा सकता है।
कांजी क्या होती है?
कांजी एक ट्रेडिशनल इंडियन ड्रिंक है जो काली गाजर या चुकंदर के अलावा, सरसों दाना, नमक और पानी से बनाई जाती है। इसे कुछ दिन धूप में रखकर फर्मेंट किया जाता है, जिससे इसका स्वाद हल्का खट्टा और नमकीन हो जाता है। यही फर्मेंटेशन कांजी को प्रोबायोटिक ड्रिंक बनाता है, जिसमें नेचुरल गुड बैक्टीरिया होते हैं।
गांवों में इसे खासतौर पर होली के समय पिया जाता था, लेकिन अब शहरी लोगों के बीच भी यह पाचन और हेल्थ ड्रिंक के रूप में लोकप्रिय हो रही है।
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खाली पेट कांजी पीने से क्या होता है?
पाचन तंत्र सुधरता है:
कांजी में मौजूद प्रोबायोटिक्स आंत में अच्छे बैक्टीरिया को बढ़ाते हैं, जिससे खाना जल्दी और बेहतर तरीके से पचता है।
एसिडिटी और गैस में राहत:
अगर आपको सुबह उठते ही पेट भारी लगता है या जलन होती है, तो कांजी उसे शांत करने में मदद कर सकती है।
स्किन क्लीन और ग्लोइंग बनती है:
फर्मेंटेड ड्रिंक होने की वजह से ये शरीर को अंदर से डिटॉक्स करती है, जिससे चेहरे पर ग्लो आता है।
इम्युनिटी बूस्ट होती है:
कांजी में मौजूद नेचुरल फर्मेंटेशन से तैयार हुए गुड बैक्टीरिया आंतों के स्वास्थ्य को बेहतर करते हैं। जब हमारी आंतें स्वस्थ होती हैं, तो शरीर की इम्युनिटी भी मजबूत रहती है। यही कारण है कि कांजी न केवल डाइजेस्टिव सिस्टम को सपोर्ट करती है, बल्कि वायरल, बैक्टीरियल और मौसमी बीमारियों से बचाने में भी मदद करती है।
वजन घटाने में करती है मदद:
कांजी कम कैलोरी वाली ड्रिंक है, जो मेटाबॉलिज्म को बूस्ट करती है। इससे भूख कंट्रोल रहती है।
कांजी पीने का सही तरीका क्या है?
- सुबह खाली पेट एक छोटा गिलास कांजी पिएं। इससे दिनभर पाचन अच्छा रहेगा।
- कांजी ठंडी ही पिएं, लेकिन बहुत ज्यादा फ्रिज में रखा हुआ न हो।
- फर्मेंटेशन के बाद जब इसका स्वाद हल्का खट्टा और तीखा हो जाए, तभी इसका सेवन करें।
- अगर पहली बार पी रहे हैं, तो कम मात्रा से शुरू करें ताकि शरीर को इसकी आदत हो सके।
इसे कितनी बार पिया जा सकता है?
- दिन में एक बार, सुबह खाली पेट पीना सबसे फायदेमंद होता है।
- गर्मियों और बदलते मौसम में सप्ताह में 3–4 बार कांजी पी सकते हैं।
- ज्यादा सेवन करने से पेट में एसिडिटी हो सकती है, इसलिए इसकी मात्रा का ध्यान रखें।
- बच्चों और बुजुर्गों को थोड़ा कम मात्रा में ही इसका सेवन करना चाहिए।
इसमें कोई शक नहीं है कि यह एक देसी सुपरड्रिंक है, जो आज के मॉडर्न डिटॉक्स ट्रेंड्स को भी पीछे छोड़ सकती है। आप भी इसे अपनी डाइट में शामिल कर सकते हैं।
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Image Credit: Freepik
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