हमारे धर्म शास्त्रों में कुछ ऐसे नियम बनाए गए हैं जिनका पालन करने से सदैव खुशहाली बनी रहती है। ऐसे ही ज्योतिष आपको हमेशा मंदिर में प्रवेश करने के कुछ नियमों के बारे में भी बताता है।
ऐसा माना जाता है कि मंदिर में प्रवेश करते समय आपको कुछ विशेष बातों का ध्यान रखना चाहिए जिससे जीवन में समृद्धि बनी रहे। मंदिर में प्रवेश करते समय बाल खुले नहीं होने चाहिए, सिर हमेशा ढक कर ही मंदिर में प्रवेश करना चाहिए, नंगे पैर मंदिर में प्रवेश करना चाहिए और एक और नियम है कि मंदिर में प्रवेश करने से पहले हमेशा बाल धोने चाहिए।
ऐसे नियमों का पालन हम सभी के घर में समृद्धि लाता है और मुख्य रूप से हम महिलाओं को इन नियमों का पालन करने की सलाह दी जाती है। अगर आप भी इस बात के बारे में विस्तार से जानना चाहते हैं कि मंदिर में प्रवेश से पहले बाल धोना जरूरी क्यों माना जाता है तो यहां ज्योतिषाचार्य डॉ आरती दहिया से जानें।
ज्योतिष की मानें तो जब भी आप मंदिर में प्रवेश करते हैं तो आपका शरीर और मन दोनों ही पवित्र होने चाहिए। ऐसे में यदि हम बिना बाल धोए हुए मंदिर में दर्शन के लिए जाते हैं तो हमारा शरीर पूरी तरह से शुद्ध नहीं माना जाता है।
इसी वजह से आपको यह सलाह दी जाती है कि जब भी आप मंदिर में प्रवेश करें बालों को धोने के बाद ही करें। ऐसा माना जाता है कि जब हम सिर से स्नान किए बिना ही मंदिर में प्रवेश करते हैं तब हमारा मन कामना, क्रोध, चिंता, अहंकार जैसी कई भावनाओं से ग्रस्त रहता है और हमारे पास इन भावनाओं को दूर करने की शक्ति नहीं होती है, यही कारण है कि हम अपने पूरे शरीर की सफाई करके ही मंदिर के भीतर प्रवेश करते हैं और बाल धोना इसी प्रक्रिया का हिस्सा माना जाता है।
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हिंदू संस्कृति में स्वच्छता को बहुत अधिक महत्व दिया जाता है, चाहे वह शारीरिक स्वच्छता हो, मानसिक हो या आध्यात्मिक। शरीर के शुद्धिकरण का सबसे अच्छा तरीका स्नान को माना गया है और बाल धोकर स्नान करना शरीर को ज्यादा शुद्ध बनाता है।
आमतौर पर शुद्धिकरण के लिए कम से कम दिन में दो बार स्नान करने की सलाह दी जाती है और मंदिर में प्रवेश से पहले स्नान के साथ बालों को धोना भी जरूरी माना जाता है। यदि आपने बाल नहीं धोए हैं तब भी मंदिर में प्रवेश से पहले बालों में पानी के छींटे डालने की सलाह दी जाती है जिससे पवित्रता बनी रहती है।
ऐसा माना जाता है कि बालों में कई बार नकारात्मक ऊर्जा का प्रवेश हो जाता है और हम जब बिना बाल धोए हुए मंदिर में प्रवेश करते हैं तो यह ऊर्जा बालों से निकलकर बाहर आ जाती है।
वहीं बालों को धोकर मंदिर में प्रवेश करने से यह ऊर्जा शरीर से दूर हो जाती है और किसी भी तरह के बुरे विचारों से दूर रहने में मदद मिलती है। चूंकि ऐसी मान्यता है कि जब भी आप मंदिर में प्रवेश करते हैं तब मन शांत और बुरे विचारों या नकारात्मक भावनाओं से मुक्त होना चाहिए, इसलिए यह नियम जरूरी माना जाता है। यही नहीं आपको बाल धोने के बाद बालों को बांधकर और सिर ढक कर ही मंदिर के भीतर प्रवेश करने की सलाह दी जाती है।
विज्ञान की मानें तो जब भी आप घर से बाहर जाते हैं तब हमारे बालों में बहुत से बैक्टीरिया प्रवेश करते हैं और यदि हम बाल धोकर मंदिर में प्रवेश करते हैं तो कई बैक्टीरया नष्ट हो जाते हैं और हमारे शरीर को नुकसान नहीं पहुंचा पाते हैं। वहीं बालों को धोने से बाल साफ़ हो जाते हैं और इसी वजह से बालों में किसी बैक्टीरिया का जल्दी प्रवेश नहीं होता है।
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यदि आप यहां बताई गई बातों को ध्यान में रखते हुए मंदिर में प्रवेश करती हैं तो आपके जीवन में सदैव खुशहाली बनी रहती है। अगर आपको यह स्टोरी अच्छी लगी हो तो इसे फेसबुक पर शेयर और लाइक जरूर करें। इसी तरह और भी आर्टिकल पढ़ने के लिए जुड़े रहें हरजिंदगी से। अपने विचार हमें ऊपर कमेंट बॉक्स में जरूर भेजें।
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