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Paris Olympics 2024: साल 1896 में ओलंपिक खेलों की हुई थी शुरुआत, पर महिलाओं ने पहली बार कब लिया था हिस्सा?

ओलंपिक खेलों की जब शुरुआत हुई थी, तो उस समय 14 देशों ने इन खेलों में हिस्सा लिया था, लेकिन महिला एथलीटों को ओलंपिक खेलों में भाग लेने के लिए काफी इंतजार करना पड़ा था।
Editorial
Updated:- 2024-07-29, 19:58 IST

Olympics Women Athletes History: ओलंपिक खेलों की शुरुआत साल 1896 में हुई थी। उस समय 14 देशों ने इन खेलों में भाग लिया था। एक अजीब बात यह है कि तब महिलाएं ओलंपिक में भाग नहीं लिया करती थीं। हालांकि, अब महिलाएं कई रिकॉर्ड तोड़कर भारत का नाम रोशन कर रही हैं। इस बार मनु भाकर ने अपने शानदार प्रदर्शन के साथ महिलाओं की 10 मीटर एयर पिस्टल स्पर्धा में ऐतिहासिक ब्रॉन्ज मेडल जीतकर भारत को पेरिस ओलंपिक 2024 में जीत दिलाई, लेकिन एक समय था जब महिलाओं को ओलंपिक में शामिल नहीं किया जाता था। तो चलिए आज हम आपको बताते हैं कि आखिर कब से महिला एथलीटों को ओलंपिक का हिस्सा बनाया जाने लगा।

महिलाओं ने पहली बार कब लिया था ओलंपिक में भाग?

women in olympic

महिलाएं पहली बार साल 1900 पेरिस ओलंपिक खेलों में भाग लेते दिखाई दी थीं। उस वक्त ओलंपिक्स में कुल 26 देशों के 997 एथलीटों ने भाग लिया था, जिनमें 22 महिला खिलाड़ी भी शामिल थीं। आपको बता दें, उन्होंने कुल पांच खेलों में हिस्सा लिया था। इन पांच खेलों के नाम टेनिस, इक्वेस्ट्रियन, क्रोक्वेट, सेलिंग और गोल्फ थे। 

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ओलंपिक्स खेलों में पहला पदक जीतने वाली महिला

ओलंपिक खेलों में सबसे पहला पदक जीतने वाली महिला एथलीट की बात करें तो वो स्विट्जरलैंड की हेलन डी पोर्टालेस थीं, जिन्होंने नौकायन में एक टीम के हिस्से के रूप में स्वर्ण पदक जीता था। वहीं, ओलंपिक प्रतियोगिता जीतने वाली पहली महिला इंग्लैंड की शार्लोट कूपर थीं, जिन्होंने टेनिस एकल खिताब जीता था। उन्होंने टेनिस स्पर्धा में गोल्ड मेडल अपने नाम किया था। 

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भारत की सबसे पहली ओलंपिक एथलीट

karnam maleshwari

भारत का प्रतिनिधित्व करने वाली सबसे पहली महिला ओलंपियन निलिमा घोष है, जो साल 1935 के ओलंपिक्स में महज 17 साल में भाग ली थी। उन्होंने 100 मीटर स्प्रिंट और 80 मीटर बाधा दौड़ में भाग लिया था, लेकिन वह पहले ही राउंड में कम्पटीशन से बाहर हो गई थीं। बात पहली भारतीय महिला के ओलंपिक में पदक जीतने की बात करें तो वो कर्णम मल्लेश्वरी थीं, जिन्होंने सिडनी ओलंपिक 2000 खेलों में भारोत्तोलन स्पर्धा में कांस्य पदक जीतकर इतिहास रचा था।

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