चाहे सरकारी नौकरी वाला हो, प्राइवेट नौकरी वाल हो या बिजनेसमैन हो, जिंदगी में एक टाइम ऐसा आता है, जब लोग रिटायरमेंट लेते हैं। रिटायरमेंट का मतलब होता है कि आप अपनी सभी जिम्मेदारियों को पूरा कर चुके हैं और अब आपके आराम करने का समय है। वहीं, कई बार 60 की उम्र के बाद भी कुछ वित्तीय जरूरतों को पूरा करने के लिए सीनियर सिटीजन को लोन की जरूरत पड़ती है। ऐसे में अक्सर मन में सवाल आता है कि क्या रिटायरमेंट के बाद लोन लिया जा सकता है? यह धारणा इसलिए बनी हुई है क्योंकि बैंक लोन के लिए आवेदन करते समय इनकम सोर्स, सैलरी स्लिप और कई काम से जुड़े दस्तावेज मांगता है।
रिटायरमेंट के बाद लोन लेने के तरीके
आजकल महंगाई के दौर में लोग अपनी वित्तीय जरूरतों को पूरा करने के लिए लोन लेते हैं। आमतौर पर लोन तब लिया जाता है, जब हम काम कर रहे होते हैं। लेकिन, कई बार रिटायर होने के बाद भी लोगों को वित्तीय सहायता के लिए लोन की जरूरत पड़ती है। अगर रिटायरमेंट के बाद, आप लोन लेने की सोच रहे हैं तो आपको कुछ ऐसे तरीकों के बारे में जान लेना चाहिए, जो आपको लोन आसानी से दिला सकते हैं।
इसे भी पढें- Fixed Deposit For Senior Citizen: आखिर बुजुर्गों को FD पर क्यों मिलता है ज्यादा ब्याज, जानें वजह
Collateral के बदले लोन
Collateral एक ऐसी संपत्ति है, जिसमें घर, गाड़ी, सोना और दूसरी कीमती वस्तुएं शामिल होती है। जिन्हें लोन के बदले बैंक के पास गिरवी रखा जाता है। इसके बदले बैंक आपको लोन दे देता है और आप हर महीने किश्त जमा करने लगते हैं। हालांकि, जब आप आखिरी लोन की EMI का भुगतान करते हैं, तो आप बैंक से NOC लेकर अपनी गिरवी संपत्ति को दुबारा अपने नाम करवा सकते हैं। Collateral किसी भी उम्र के शख्स को लोन दिलाने में मदद करता है। यह लोन देने वाले को आश्वासन देता है कि अगर लोन लेने वाले ने लोन की रकम नहीं चुकाई, तो बैंक अपना पैसा वापस पाने के लिए गिरवी रखी गई संपत्ति को बेच सकता है।
गारंटर के साथ लोन
अगर आप सीनियर सिटीजन हैं और आपको लोन जल्दी लेना है, तो आप लोन गारंटर रख सकते हैं। गारंटर का काम होता है कि वह आपके लोन लेने वाले डॉक्यूमेंट्स पर सिग्नेचर करता है और यह सुनिश्चित करता है कि लोन डिफॉल्ट नहीं होगा। अगर कोई डिफॉल्ट होता है, तो लोन की पूरी रकम चुकाने के लिए गांरटर जिम्मेदार होगा। गांरटर के साथ अगर आप लोन लेने जाते हैं, तो बैंक को जोखिम कम लगता है और वे बिना किसी परेशानी के आपको लोन दे देता है।
गारंटर आपका लाइफपार्टनर हो सकता है, जिसे पेंशन मिल रही हो, फैमिली मेंबर, दोस्त या कोई थर्ड पार्टी, जिसका क्रेडिट स्कोर अच्छा हो और उसके पास सोर्स ऑफ इनकम होनी चाहिए। आपको बता दें कि लोन लिमिट आमतौर पर पेंशन, लोन लेने वाले की उम्र, क्रेडिट स्कोर जैसे कारकों पर निर्भर करती है।
पेंशन लोन
रिटायरमेंट के बाद, अगर आपको मासिक पेंशन मिल रही है, तो बैंकों से आप पेंशन लोन ले सकते हैं। यह पर्सनल लोन की तरह होता है। लोन अमाउंट को कैसे खर्च किया जाए, इस पर कोई रिस्ट्रिक्शन नहीं होती है। पेंशन लोन से आपको लोन के तौर पर बड़ा अमाउंट मिल सकता है। कई बैंकों के लिए यह जरूरी होता है कि आपका पेंशन अकाउंट उसी बैंक में हो।
लोन अगेंस्ट प्रॉपर्टी
यह लोन बैंक से 60 की उम्र के बाद लोन लेने का एक और आसान तरीका है। आप अपना घर बैंक के पास गिरवी रखकर बदले में लोन ले सकते हैं। हालांकि, घर के डॉक्यूमेंट्स लोन लेने वाले के नाम होने चाहिए और घर की कोई EMI नहीं चलनी चाहिए। लोन लेने वाले सीनियर सिटीजन, लोन का एक हिस्सा एकमुश्त और लोन की बाकी रकम को मासिक पेंशन से चुकाने का विकल्प चुन सकते हैं। जब लोन लेने वाला लोन की पूरी रकम ब्याज समेत चुका देता है, तब उसे घर के डॉक्यूमेंट्स वापस मिल जाते हैं। अगर वह लोन की रकम चुकाने में विफल हो जाता है, तो बैंक घर को बेचकर अपना पैसा वसूल करने का अधिकार रखता है।
इसे भी पढ़ें - बिना नौकरी करने वाले भी पा सकते हैं होम लोन, जानें क्या है तरीका
यदि आप रिटायरमेंट के बाद लोन के लिए आवेदन करने का सोच रहे हैं, तो पहले यह सुनिश्चित करें कि आप हर महीने EMI चुकाने में सक्षम हैं और निर्धारित अवधि के भीतर आप लोन की रकम ब्याज समेत चुका पाएंगे।
अगर हमारी स्टोरीज से जुड़े आपके कुछ सवाल हैं, तो आप हमें आर्टिकल के ऊपर दिए कमेंट बॉक्स में बताएं। हम आप तक सही जानकारी पहुंचाने का प्रयास करते रहेंगे। अगर आपको यह स्टोरी अच्छी लगी है, तो इसे शेयर जरूर करें। ऐसी ही अन्य स्टोरी पढ़ने के लिए जुड़ी रहें हरजिंदगी से।
Image Credit - freepik
HerZindagi ऐप के साथ पाएं हेल्थ, फिटनेस और ब्यूटी से जुड़ी हर जानकारी, सीधे आपके फोन पर! आज ही डाउनलोड करें और बनाएं अपनी जिंदगी को और बेहतर!
कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों