Period Rules: हर शुभ काम से पहले पूजा-पाठ किया जाता है। माना जाता है कि पूजा-पाठ करने से सुख-शांति की प्राप्ति होती है। इसलिए हिंदू धर्म में पूजा का महत्व अधिक है। पूजा करते वक्त कई बातों का ध्यान रखा जाता है। नियम अनुसार पूजा संपन्न की जाती है। कहा जाता है पूजा से जुड़े नियमों का उल्लघंन करने से समस्या हो जाती है।
पूजा से जुड़ा एक नियम केवल महिलाओं को मानना पड़ता है। पीरियड्स के दौरान महिलाओं को पूजा करने से मनाही होती है। हालांकि, इसके पीछे तरह-तरह के कारण दिए जाते हैं। ऐसे में इस विषय पर हमनें ज्योतिषाचार्य राधाकांत वत्स से बात की है। उन्होंने हमें पीरियड्स के दौरान पूजा करने से क्या सच में मनाही होती है? साथ ही, इन दिनों कैसे पूजा करनी चाहिए और इससे जुड़े नियम।
अक्सर महिलाओं के साथ यह समस्या होती है कि व्रत के दिन ही पीरियड्स हो जाते हैं? ऐसे में महिलाएं परेशान हो जाती हैं कि क्या अब उन्हें पूजा करनी चाहिए? साथ ही, कुछ महिलाएं व्रत भी पूरा नहीं करती हैं। ज्योतिष के अनुसार पीरियड्स होने पर पूजा करने से परहेज करना चाहिए। आप अपनी जगह किसी दूसरे व्यक्ति से पूजा करवा सकती हैं। क्या आप भी व्रत के दिन पीरियड्स होने पर व्रत पूरा नहीं करती हैं? आपको ऐसा नहीं करना चाहिए।
पीरियड्स के दिनों में पूजा न करने का चलन नया नहीं है बल्कि सालों से ही महिलाओं को इसके लिए मनाही है। एक्सपर्ट ने हमें बताया कि पूजा न करने का संबंध अशुद्धि से नहीं है। इस समय महिलाओं के शरीर में काफी बदलाव होते हैं। इन बदलाव को एनर्जी के रूप में देखा जाता है। ऐसे में भगवान इस ऊर्जा को सहन करने में सक्षम नहीं होते हैं।
शायद आपको इस बात का कोई तर्क नहीं लग रहा होगा, लेकिन राधाकांत वत्स ने हमें एक उदाहरण दिया। उन्होंने हमें बताया कि जब महिलाएं पीरियड्स होने पर तुलसी में पानी डालती हैं, तो कुछ ही दिनों में यह पौधा खराब हो जाता है। तुलसी के पत्ते सूखने लगते हैं। यही बात भगवान के संबंध में भी लागू होती है। (पीरियड्स में बाल क्यों नहीं धोने चाहिए)
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इस दौरान जब आप शारीरिक रूप से सक्षम नहीं हैं, तो आपको मानिसक रूप से भगवान की पूजा करनी चाहिए। यानी मन में मंत्रों का जाप करें। ऐसा करने से न केवल भगवान प्रसन्न होंगे बल्कि आपका मन भी शांत हो जाएगा।
पीरियड्स में मदिंर से दूर बैठें और घर के किसी अन्य सदस्य से पूजा करवाएं। साथ ही, इस बात का ध्यान रखें कि मंदिर या पूजा से जुड़ा कोई सामान न छूएं। (पीरियड्स में अचार छूने से क्यों है मनाही)
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ज्यादातर पीरियड्स 5-7 तक चलते हैं। इन दिनों में व्यक्ति से व्यक्ति में अंतर होता है। ऐसे में अक्सर महिलाएं का सवाल होता है कि पीरियड्स के कौन-से दिन पूजा करनी चाहिए। एक्सपर्ट की मानें तो पीरियड्स में पाचंवे दिन पूजा करनी चाहिए। 5वें दिन बाल धोकर पूजा करें।
पीरियड्स एक नेचुरल प्रोसेस है, लेकिन समाज में इससे जुड़े अलग-अलग नियम बनाएं हैं। इन नियमों के मायने और मतलब हर कोई अलग-अलग बताता है। कुछ नियम इस प्रकार हैं-
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