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पेट के निचले हिस्‍से का दर्द आपको भी सताता है, तो हो सकता है पीसीएस

अगर पेट के निचले हिस्‍से की समस्या 6 महीने से अधिक समय तक बनी रहती है तो यह पेल्विक कंजेशन सिंड्रोम (पीसीएस) का कारण हो सकता है, जानिए क्‍या है ये।
IANS
Updated:- 2018-07-20, 14:54 IST

देश में ज्‍यादातर महिलाएं पेट के निचले हिस्से के दर्द से परेशान रहती हैं। पीरियड्स के दौरान या लंबे समय तक बैठे रहने से यह समस्या बढ़ जाती है। अगर पेट दर्द की समस्या 6 महीने से अधिक समय तक बनी रहती है तो यह पेल्विक कंजेशन सिंड्रोम (पीसीएस) का कारण हो सकता है। जी हां देश में हर 3 में से 1 महिला अपने लाइफ के किसी न किसी लेवल पर पेल्विक पेन से परेशान होती है।

पीसीएस की समस्‍या

वसंत कुंज स्थित फोर्टिस हास्पिटल के हेड इंटरवेशनल रेडियोलोजिस्ट डॉक्‍टर प्रदीप मुले के अनुसार, "पेट के निचले भाग में दर्द होने के कई कारण हो सकते हैं, उसमें से सबसे सामान्य कारणों में से एक है पेल्विक कंजेशन सिंड्रोम (पीसीएस)। यह युवा महिलाओं में अधिक देखा जाता है। पेल्विक कंजेशन सिंड्रोम को पेल्विक वेन इनकम्पेटेंस या पेल्विक वेनस इनसफिशिएंशी भी कहते हैं।"

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उन्होंने कहा, "यह महिलाओं में होने वाली एक चिकित्सीय स्थिति है। इस स्थिति में तेज दर्द होता है जो खड़े होने पर और बढ़ जाता है, लेटने पर थोड़ा आराम मिलता है। पीसीएस थाई, हिप्‍स या योनि क्षेत्र की वैरिकोस वेन्स से संबंधित होता है। इसमें वेन्‍स नॉर्मल से अधिक खिंच जाती हैं।"

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Image courtesy: Shutterstock.com

लक्षणों को नजरअंदाज करती हैं महिलाएं

डॉक्‍टर प्रदीप मुले ने कहा, "जो महिलाएं मां बन चुकी हैं और युवा हैं उनमें यह समस्या अधिक होती है क्योंकि इस आयुवर्ग की महिलाएं अपने लक्षणों को नजरअंदाज करती हैं इसलिए उनमें यह समस्या अधिक बढ़ जाती है। पीसीएस का कारण स्पष्ट नहीं है। हालांकि शरीर रचना या हार्मोन्स लेवल में किसी प्रकार की गड़बड़ी इसका कारण हो सकती है। इससे प्रभावित होने वाली अधिकतर महिलाएं 20-45 वर्ष आयुवर्ग की होती हैं और जो कई बार प्रेग्‍नेंट हो चुकी होती हैं।"

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वेन्‍स की दीवारें हो जाती है कमजोर

उन्होंने कहा, "प्रेग्‍नेंसी के दौरान हार्मोन संबंधी बदलावों, वजन बढ़ने और पेल्विक हिस्‍से की एनाटॉमी में परिवर्तन आने से ओवरी की वेन्‍स में प्रेशर बढ़ जाता है जिससे वेन्‍स की दीवार कमजोर हो जाती है जिससे वह नॉर्मल से अधिक फैल जाती हैं।" उन्होंने यह भी कहा कि ''एस्ट्रोजन हार्मोन वेन्‍स की दीवार को कमजोर कर देता है। नॉर्मल वेन्‍स में ब्‍लड पेल्विस से ऊपर हार्ट की ओर बहता है और वेन्‍स में मौजूद वॉल्व के कारण इसका वापस वेन्‍स में फ्लो नहीं होता है। जब ओवरी की वेन्‍स फैल जाती हैं, वॉल्व पूरी तरह से बंद नहीं होता है जिससे ब्‍लड वापस बहकर वेन्‍स में आ जाता है, जिसे रिफ्लक्स के नाम से भी जाना जाता है जिसके परिणामस्वरूप पेल्विक एरिया में ब्‍लड की मात्रा बहुत बढ़ जाती है।

 

पीसीएस के लक्षण

डाक्‍टर प्रदीप मुले का कहना है कि इसका सबसे प्रमुख लक्षण पेट के निचले भाग में दर्द होना है। यह अधिक देर तक बैठने या खड़े रहने के कारण गंभीर हो जाता है। इसके कारण कई महिलाओं में पैर में भारीपन भी लगता है। उन्होंने कहा, "इसके अलावा पीसीएस में निम्न लक्षण दिखाई दे सकते हैं जैसे

  • पेल्विक क्षेत्र में लगातार दर्द होना
  • पेट के निचले भाग में मरोड़ अनुभव होना
  • पेल्विक क्षेत्र में प्रेशर या भारीपन अनुभव होना
  • शारीरिक संबंध बनाते समय दर्द होना
  • यूरीन या मल त्यागते समय दर्द होना
  • लंबे समय तक बैठने या खड़े होने में दर्द होना।
  • सेक्स के दौरान भी दर्द हो सकता है।"

अगर आप भी पेट के निचले हिस्‍से में दर्द से परेशान हैं तो आज ही अपने डॉक्‍टर से मिलें।

 

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