योग फिट रहने की एक प्राचीन प्रणाली है। इसकी मदद से आप तन और मन को दुरुस्त रख सकते हैं। यह न केवल आपको कई तरह की बीमारियों से बचने में मदद करता है बल्कि सुंदर भी बनाता है। इसलिए समय-समय पर हम आपको ऐसे योग के बारे में बताते हैं जो आपकी रोजमर्रा की समस्याओं को दूर करने में मदद कर सकते हैं। आज हम आपको एक ऐसी योग मुद्रा के बारे में बता रहे हैं जो महिलाओं की पीरियड्स से जुड़ी समस्या को दूर कर सकती हैं।
जूही कपूर अक्सर सोशल मीडिया पर ऐसे कई आसन करती हुई दिखाई देती हैं, जो वर्तमान में आम बीमारियों को लक्षित करते हैं। ऐसी ही एक समस्या अनियमित या लेट पीरियड की है। एक नए इंस्टाग्राम रील में जूही कपूर को योनि मुद्रा करते हुए देखा जा सकता है जो पीरियड्स को नियमित करने में मदद कर सकती है। कैप्शन में जूही कपूर ने बताया कि कई कारक पीरियड्स को प्रभावित करते हैं। इनमें शामिल हैं-
- पोषण
- जीवनशैली
- फिजिकल एक्टिविटी
- तनाव
- नींद
एक्सपर्ट ने आगे बताया, हालांकि, कोई भी योग के माध्यम से पीरियड्स के जल्दी आने की गारंटी नहीं दे सकता है लेकिन इसे मुद्रा और योग से नियंत्रित किया जा सकता है।
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योनि मुद्रा क्या है?
योनि मुद्रा एक ऐसी तकनीक है जो महिला रिप्रोडक्टिव अंग या गर्भ का प्रतिनिधित्व करती है। योनि मुद्रा संस्कृत के दो शब्दों से मिलकर बनी है, 'योनि' का अर्थ है 'गर्भ' जो महिला के रिप्रोडक्टिव सिस्टम को दर्शाता है और 'मुद्रा' का अर्थ है 'हाथ की उंगलियों और अंगूठे का इशारा'। महिलाओं में रिप्रोडक्टिव सिस्टम में सुधार के लिए इस मुद्रा को किया जा सकता है।
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योनि मुद्रा कैसे करें?
- इसे करने के लिए सुखासन में बैठ जाएं।
- अब अंगूठे और तर्जनी को छोड़कर सभी उंगलियों को आपस में फंसा लें।
- तर्जनी और अंगूठे को एक साथ लाएं।
- गर्भ के ऊपर एक त्रिभुज बनाएं और उंगलियों को नीचे की ओर रखें।
- अब आंखें बंद कर लें और श्वास को देखें।
- प्राणायाम को शामिल करें।
एक्सपर्ट इसे सुबह और दिन के समय करने और लंबे समय तक बनाए रखने की सलाह देते हैं।
योनि मुद्रा के फायदे क्या हैं?
यह मुद्रा सभी के लिए अच्छी होती है और विशेष रूप से रिप्रोडक्टिव संबंधित समस्याओं के लिए फायदेमंद मानी जाती है। एक्सपर्ट ने मुद्रा के कुछ फायदे बताए हैं-
- पीसीओएस, एंडोमेट्रियोसिस
- रेगुलर पीरियड्स
- फैलोपियन ट्यूब में कमी
- हार्मोनल असंतुलन
- फाइब्रॉयड्स
- पीरियड्स में दर्द
- इनफर्टिलिटी
पीरियड्स के लिए योनि मुद्रा
योनि मुद्रा गर्भ, पीरियड्स और मूल चक्र से जुड़ी है। यह गर्भ में प्राण को मजबूत करने में मदद करती है।
योनि मुद्रा की सीमाएं
- मानसिक स्वास्थ्यमें गड़बड़ी का सामना कर रहे लोगों को इसका अभ्यास करने से बचना चाहिए।
- सुबह के समय योनि मुद्रा को करें। अपनी सुविधानुसार कभी भी योग नहीं करना चाहिए।
- हमेशा शांत वातावरण में मुद्रा को करें।
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