Karwa Chauth 2023 Calendar: कैसा होता है करवा चौथ का कैलेंडर? जानें महत्व और घर पर बनाने का तरीका

How to make Karwa Chauth Calendar at Home: करवा चौथ का व्रत सुहागिनों के लिए बहुत महत्वपूर्ण माना जाता है। इस दिन शादीशुदा महिलाएं चंद्रमा की पूजा करती हैं, अर्घ्य देती हैं और निर्जल व्रत रखती हैं। 

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Karwa Chauth Calendar: करवा चौथ का व्रत सुहागिनों के लिए बहुत महत्वपूर्ण माना जाता है। इस दिन शादीशुदा महिलाएं चंद्रमा की पूजा करती हैं, अर्घ्य देती हैं और निर्जल व्रत रखती हैं। इस दिन व्रत रखने से सुहागिनों को अखंड सौभग्य प्राप्त होता है और पति की रक्षा होती है।

इस साल करवा चौथ का व्रत 1 नवंबर, दिन बुधवार को रखा जाएगा। मान्यता है कि करवा चौथ व्रत में कैलेंडर का विशेष इस्तेमाल किया जाता है। यह कैलेंडर करवा चौथ का होता है जिसमें चांद-सितारे बने होते हैं। ज्योतिषाचार्य राधाकांत वत्स से आइये जानते हैं इसके पीछे का महत्व।

करवा चौथ 2023 कैलेंडर का महत्व (Karwa Chauth 2023 Significance Of Calendar)

करवा चौथ का एक विशेष कैलेंडर होता है जिसे पूजा के दौरान घर में लाने का विशेष विधान है। साथ ही, इस कैलेंडर की सुहागिनों के द्वारा पूजा (पूजा के नियम)भी की जाती है। करवा चौथ के कैलेंडर को ध्यान से देखा जाए तो इसमें कई सितारे यानी कि तारे बने होते हैं।

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साथ ही, इस कैलेंडर में चांद भी बना होता है। वहीं, इस कैलेंडर के बीचों-बीच एक चेहरे की आकृति भी बनी होती है और उस चेहरे की आकृति के आसपास तीन चक्र बने होते हैं। चेहरे के नीचे शरीर की बनावट भी है लेकिन थोड़ी अलग रूप में मौजूद है।

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इसके अलावा, करवा चौथ के कैलेंडर पर गणेश जी अंकित हैं कई स्त्री और पुरुष बने हुए हैं और एक स्त्री अपने मृत पति को गोद में लेकर बैठी भी दिखाई देती है। साथ ही, इस कैलेंडर में सुहाग के सामान से जुड़ी कई शुभ वस्तुएं भी बनी हुई हैं।

वहीं, कुछ-कुछ स्थानों पर करवा चौथ के कैलेंडर में गाय, हाथी और शेर भी बने होते हैं। करवा चौथ के कैलेंडर में चांद और सितारे इसलिए होते हैं ताकि सुहागिनें चंद्रमा की पूजा कर सकें। शरीर के साथ बना हुआ चेहरा करवा माता का होता है।

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सुहागिनों द्वारा कैलेंडर की पूजा असल में करवा माता की पूजा है। माता के चार हाथ उनके द्वारा सुहागिनों पर अपना आशीर्वाद बरसाने को दर्शाते हैं। गणेश जी (करवा चौथ की गणेश कथा) के साथ स्त्री और उसके मृत पति का कैलेंडर में होना करवा चौथ से जुड़ी गणेश कथा का प्रतीक है।

इसका अर्थ है कि करवा चौथ के दिन गणेश जी की पूजा से सुहागिन महिलाओं को अखंड सौभग्य मिलता है। वहीं, कैलेंडर पर सुहाग की सामग्री यह दर्शाती है कि करवा चौथ के दिन महिलाओं को सोलह श्रृंगार कर सुहाग की सभी वस्तुएं धारण करनी चाहिए।

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अंत में करवा चौथ के कैलेंडर पर पशुओं का होना अलग-अलग बातों का प्रतीक है, जैसे गाय का होना वैवाहिक जीवन में सुख-समृद्धि को दर्शाता है। वहीं, शेर का होना वैवाहिक जीवन में पति-पत्नी के एक दूसरे के प्रति समर्पण और साहस को दर्शाता है।

इसके अलावा, करवा चौथ के कैलेंडर पर हाथी का होना वैवाहिक जीवन में धन, वैभव, ऐश्वर्य, संपदा आदि का प्रतीक माना जाता है। यही कारण है कि करवा चौथ के दिन इस विशेष कैलेंडर की पूजा का विधान है ताकि अखंड सुहाग की प्राप्ति हो।

अगर अप भी इस साल करवा चौथ पर व्रत रख रही हैं तो करवा चौथ का कैलेंडर घर लाना न भूलें और साथ ही, इस लेख में दी गई जानकरी के माध्यम से यह जान लें कि क्या है पूजा में करवा चौथ के कैलेंडर का महत्व। अगर हमारी स्टोरीज से जुड़े आपके कुछ सवाल हैं, तो वो आप हमें आर्टिकल के नीचे दिए कमेंट बॉक्स में बताएं। हम आप तक सही जानकारी पहुंचाने का प्रयास करते रहेंगे। अगर आपको ये स्टोरी अच्छी लगी है, तो इसे शेयर जरूर करें। ऐसी ही अन्य स्टोरी पढ़ने के लिए जुड़ी रहें हरजिंदगी से।

image credit: shutterstock, amazon

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