कहते हैं कि दुनिया का सबसे खूबसूरत अहसास है प्यार। जब आपको किसी से प्यार होता है तो पूरी दुनिया ही खूबसूरत नजर आती है। लेकिन अगर वह प्यार सिर्फ एक भ्रम हो तो। जी हां, कई बार ऐसा भी होता है कि आप जिस व्यक्ति से प्यार पर भरोसा करती हैं, वह प्यार ही नकली होता है। लेकिन आप उसे सच समझ बैठती हैं और जब बाद में आपका दिल टूटता है तो बहुत दर्द होता है। हो सकता है कि आपके साथ भी ऐसा ही हुआ हो या फिर आप अभी-अभी किसी के प्यार में पड़ी हों तो बेहतर होगा कि आप पहले असली और नकली प्यार में फर्क समझ लें।
जब आपको यह पता होगा कि सामने वाले व्यक्ति का प्यार आपके प्रति सच्चा है या नहीं, तब आपके लिए किसी भी बुरी स्थिति से बचना काफी आसान हो जाएगा। तो चलिए आज इस लेख में हम आपको असली प्यार और फेक लव के बीच अंतर बता रहे हैं। इस लेख को पढ़ने के बाद आपके लिए सामने वाले व्यक्ति के प्यार की असलियत को पहचानना यकीनन काफी आसान हो जाएगा-
पहला अंतर
सच्चा प्यार निस्वार्थ होता है। हालाँकि यह स्वयं की उपेक्षा नहीं करता है, पर यह किसी को वास्तव में खुश करने के लिए केवल बड़ा बलिदान करने के लिए तैयार है। दूसरी ओर, नकली प्यार स्वार्थी है, क्योंकि यह केवल अपनी परवाह करता है। जो लोग सिर्फ प्यार का दिखावा करते हैं, उनके लिए अपना स्वार्थ ही सबसे उपर होता है।
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दूसरा अंतर
सच्चे प्यार में बड़ा दिल होता है। यह उदार और दयालु है। यह आपको वह प्यार और देखभाल देगा जो आपको वास्तव में मिलना चाहिए। वहीं दूसरी ओर, नकली प्यार हार्टलेस होता है। नकली प्यार में व्यक्ति आपको दर्द देने से भी पीछे नहीं हटेगा, जिसके आप भी हकदार नहीं हैं। इतना ही नहीं, सामने वाला व्यक्ति यह जताने की भी कोशिश करेगा कि वह आपको यह दर्द सिर्फ इसलिए दे रहा है, क्योंकि वह आपसे बेहद प्यार करता है, जबकि वह स्वयं की कुंठा व गुस्से को निकालता है।
तीसरा अंतर
सच्चे प्यार में हमेशा एक विनम्रता होती है। यह खुद के लिए क्रेडिट लेने में दिलचस्पी नहीं रखता है। यह अपनी गलतियों को स्वीकार करता है और दूसरों के दोषों की जिम्मेदारी भी लेता है। यह सिर्फ लोगों को उठाने के लिए खुद को नीचे गिरा सकता है। दूसरी ओर, नकली प्यार घमंड है। यह एक क्रेडिट हड़पने वाला और खुद पर अत्यधिक गर्व करने वाला है। यह अपनी गलतियों को स्वीकार नहीं करता, बल्कि दूसरों को दोष देता है।
चौथा अंतर
सच्चा प्यार आपको पूरा करता है। ऐसा लगता है कि आपको हमेशा से सिर्फ इसी की चाहत थी। इसमें आप हर पल का आनंद लेती है। वहीं दूसरी तरफ, नकली प्यार में ना तो आप खुश होती है और सामने वाला व्यक्ति भी आपको यही दर्शाता है। यह लालची और असंतुष्ट होता है। पार्टनर की खुशी हमेशा ज्यादा महत्वपूर्ण लगती है अगर प्यार सच्चा होता है।(इन टिप्स से रिलेशनशिप हमेशा रहेगी मजबूत)
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पांचवा अंतर
सच्चा प्यार आपकी राय, फैसलों और यहां तक कि आपकी महत्वाकांक्षाओं का भी सम्मान करेगा। यह आपको एक व्यक्ति के रूप में सम्मानित भी करेगा। दूसरी ओर, नकली प्यार अभिमानी है। यह इस बात की परवाह नहीं करता है कि आप क्या सोचते हैं और क्या महसूस करते हैं। यह आपको एक हीन व्यक्ति के रूप में मानता है जो किसी भी विचार के योग्य नहीं है।
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