प्रेग्नेंसी का समय किसी भी महिला के लिए एक सुखद अनुभव होता है। ठीक वैसे ही यह समय पति और परिवार के अन्य सदस्यों के लिए भी होता है जो प्रेग्नेंट महिला का ध्यान रखते हैं। फर्स्ट ट्राइमेस्टर प्रेग्नेंसी का पहला चरण है, जिससे कुछ सबसे आम बायोलॉजिकल परिवर्तन जुड़े हैं।
एक औसत प्रेग्नेंसी 40 हफ्ते तक रहती है और इस अवधि को तीन ट्राइमेस्टर में बांटा जाता है। फर्स्ट ट्राइमेस्टर में अलग-अलग चरण होते हैं। फर्स्ट ट्राइमेस्टर एक अंडे के फर्टिलाइज होने से लेकर 12वें हफ्ते तक के बीच का समय होता है। एक महिला का शरीर फर्स्ट ट्राइमेस्टर के दौरान कुछ बदलावों से गुजरता है। प्रेग्नेंसी के इस चरण के दौरान एक महिला को पूरी तरह से अलग अनुभव होता है।
फर्स्ट ट्राइमेस्टर प्रत्येक महिला को एक अलग अनुभव देता है। कुछ महिलाएं इस दौरान हेल्दी रहती हैं, तो कुछ को इस चरण के दौरान थोड़ी परेशानी का सामना करना पड़ता हैं। फर्स्ट ट्राइमेस्टर के दौरान होने वाले कुछ महत्वपूर्ण बदलाव हैं:
इस चरण में महिला के शरीर में होने वाले कई हार्मोनल बदलावों के कारण ब्रेस्ट में दर्द होता हैं। ऐसा milk duct(दूध वाहिनी) में बदलावों के कारण होता है। महिला की ब्रा का आकार आमतौर पर फर्स्ट ट्राइमेस्टर के दौरान बढ़ने लगता है।
प्रेग्नेंसी के फर्स्ट ट्राइमेस्टर के दौरान हार्मोन प्रोजेस्टेरोन बढ़ता है, जो मसल्स को संकुचन की ओर ले जाता है। इसके अलावा, इस चरण के दौरान अतिरिक्त आयरन का सेवन कब्ज का कारण बनता है। इस लेवल पर यह समस्या काफी आम है, इसलिए महिलाओं को चीजों को कंट्रोल में लाने के लिए फाइबर और लिक्विड का सेवन बढ़ाने की जरूरत होती है।
इस चरण के दौरान शरीर बहुत बार थक जाता है, क्योंकि आपका शरीर गर्भ के अंदर बढ़ने वाले भ्रूण को सपोर्ट करने के लिए कड़ी मेहनत कर रहा होता है। इसलिए, महिला को इस लेवल पर शारीरिक रूप से चुनौतीपूर्ण कामों को करने से बचना चाहिए और नियमित अंतराल पर पर्याप्त आराम करना चाहिए।
जैसे ही गर्भ में बच्चा बढ़ता है, यूट्रस का आकार भी बढ़ता है और इस प्रक्रिया में ब्लैडर पर प्रेशर डालता है। इसलिए बार-बार बाथरूम जाना पड़ता है। लेकिन आपको फिर भी लिक्विड लेते रहना चाहिए, भले ही इसका मतलब बाथरूम में अधिक बार जाना क्यों ना हो।
फर्स्ट ट्राइमेस्टर के दौरान बच्चे के अंग विकसित होने शुरू हो जाते हैं और शरीर की प्रणाली विकसित होने लगती है। लगभग दस हफ्तों में बच्चे के पैर और हाथ धीरे-धीरे विकसित होने लगते हैं। पांचवे और आठवें हफ्ते के बीच नाखून विकसित होने लगते हैं। आठवें हफ्ते के बाद बच्चे की आंतें विकसित होने लगती हैं।
आप फर्स्ट ट्राइमेस्टर के दौरान शरीर के विभिन्न हिस्सों में विभिन्न बदलावोंं को देखेंगे। इस स्थिति में परेशान होने की बजाय आपको उचित आहार और एक्सरसाइज की मदद से अपने शरीर का अच्छी तरह से ध्यान रखना चाहिए।
Dr. Pradnya Supe Agarwal (M.S. Obstetrics & Gynecology) को एक्सपर्ट सलाह के लिए विशेष धन्यवाद।
Reference
https://www.webmd.com/baby/guide/first-trimester-of-pregnancy#3
https://www.whattoexpect.com/first-trimester-of-pregnancy.aspx
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