टैटू बनवाने का चलन इन दिनों बेहद आम होता जा रहा है। लोग अपनी बॉडी के अलग-अलग हिस्सों पर डिफरेंट स्टाइल के टैटू बनवाना पसंद करते हैं। आमतौर पर, टैटू बनवाने के बाद खुजली या रेडनेस होना बेहद आम है। लेकिन कभी-कभी टैटू पर इससे भी अधिक रिएक्शन नजर आ सकते हैं। हो सकता है कि टैटू वाले एरिया से कुछ तरल पदार्थ निकल रहा हो या फिर आप रैशेज को एक्सपीरियंस करे।
ऐसे होने के पीछे कई कारण हो सकते हैं। दरअसल, टैटू बनवाने के बाद आपका इम्युन सिस्टम आपकी स्किन में इंजेक्ट की गई इंक के खिलाफ काम करना शुरू कर देता है और इसलिए रेडनेस या खुजली होती है। यह कुछ वक्त बाद खुद ब खुद ठीक हो जाती है। लेकिन अगर आपको टैटू इंक से एलर्जिक रिएक्शन होता है तो इससे टैटू रैशेज हो सकते हैं। तो चलिए आज इस लेख में हम आपको टैटू रैशेज के कारणों के बारे में बता रहे हैं-
टैटू इंक से एलर्जी होना
यह टैटू रैशेज के प्रमुख कारणों में से एक है। दरअसल, टैटू की इंक में पिगमेंटेंशन होता है। ऐसे में जब यह आपकी स्किन के संपर्क में आता है तो इससे आपको एलर्जी होने की संभावना कई गुना बढ़ जाती है। टैटू के दौरान आपको किसी भी कलर्ड इंक से एलर्जी हो सकती है। हालांकि, ज्यादातर रेड कलर इंक से टैटू एलर्जी होती है। कुछ लोगों को रेट्रोवायरल थेरेपी या जॉइंट रिप्लेसमेंट सर्जरी के बाद टैटू संबंधी एलर्जी भी हो जाती है।(मस्कारा लगाने के टिप्स)
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इंफेक्शन के कारण रैशेज होना
कई बार टैटू रैशेज के पीछे की एक वजह इंफेक्शन भी हो सकता है। मसलन, अगर टैटू बनाने के लिए इस्तेमाल किया जाने वाला दूषित है या फिर टैटू इंक को डायलूट करने के लिए इस्तेमाल किया जाने वाला पानी ठीक से स्टेरलाइज नहीं है, तो इससे इंफेक्शन होने का खतरा काफी बढ़ जाता है। हो सकता है कि इसके कारण टैटू डिजाइन बनाते समय कीटाणुओं आपके भीतर प्रवेश कर जाए। (स्किन टाइप के हिसाब से मेकअप प्राइमर)
फोटो सेंसेटिविटी
एक बार टैटू बनवाने के बाद आपकी स्किन सूरज की किरणों के प्रति बेहद संवेदनशील हो सकती है। जब भी आप अपने टैटू को कवर किए बिना धूप में निकलते हैं तो आपको टैटू वाली जगह पर रेडनेस या रैशेज का सामना करना पड़ सकता है। रेड, ब्लू या ब्लैक इंक टैटू स्किन को भी फोटो सेंसेटिविटी की समस्या हो सकती है। आपको रैशेज तुरंत नजर आ सकते हैं या फिर आपको इसमें कुछ वक्त भी लग सकता है।
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स्किन कंडीशन के कारण रैशेज होना
टैटू बनवाने से सोरायसिस, एक्जिमा, विटिलिगो, लिचेन प्लेनस या सारकॉइडोसिस जैसी स्किन कंडीशन बद से बदतर हो सकती है। अगर आप पहले से ही इनमें से किसी स्किन कंडीशन से जूझ रही हैं तो ऐसे में टैटू बनवाना आपके लिए नुकसानदायक हो सकता है। इसलिए ऐसे लोगों को टैटू ना बनवाने की सलाह दी जाती है। दरअसल, इस तरह की स्किन कंडीशन में टैटू बनवाने के कुछ दिनों बाद ही रैशेज व अन्य प्रॉब्लम हो सकती है। इसके अलावा, इसमें कुछ वक्त भी लग सकता है।
तो अब आपको भी टैटू रैशेज के पीछे के कारणों के बारे में पता चल गया होगा। इन कारणों को जानने के बाद आप इन रैशेज से खुद का बचाव कर पाएंगी।
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