september first pradosh vrat 2025 kab hai

Pradosh Vrat Date 2025: 4 या 5, कब है सितंबर का पहला प्रदोष व्रत? जानें शुभ मुहूर्त और महत्व

Pradosh Vrat Kab Hai 2025: प्रदोष व्रत को करने से व्यक्ति के सभी दुख दूर होते हैं और उसकी हर मनोकामना पूरी होती है। यह व्रत खासतौर पर स्वास्थ्य, धन और सुखी वैवाहिक जीवन के लिए बहुत लाभकारी माना जाता है।
Editorial
Updated:- 2025-09-04, 16:47 IST

प्रदोष व्रत हिंदू धर्म में बहुत ही शुभ माना जाता है जो भगवान शिव और देवी पार्वती को समर्पित है। यह व्रत हर महीने त्रयोदशी तिथि को रखा जाता है। यह मान्यता है कि प्रदोष काल यानी कि सूर्यास्त के बाद का समय भगवान शिव की पूजा के लिए सबसे उत्तम होता है। इस व्रत को करने से व्यक्ति के सभी दुख दूर होते हैं और उसकी हर मनोकामना पूरी होती है। यह व्रत खासतौर पर स्वास्थ्य, धन और सुखी वैवाहिक जीवन के लिए बहुत लाभकारी माना जाता है। ऐसे में ज्योतिषाचार्य राधाकांत वत्स से आइये जानते हैं कि सितंबर का पहला प्रदोष व्रत कब पड़ रहा है, क्या है पूजा का शुभ मुहूर्त और महत्व।

सितंबर शुक्र प्रदोष व्रत 2025 कब है?

सितंबर महीने का पहला प्रदोष व्रत 5 सितंबर 2025 को पड़ेगा। यह व्रत शुक्रवार के दिन पड़ रहा है, इसलिए इसे शुक्र प्रदोष व्रत कहा जाएगा। प्रदोष व्रत के लिए त्रयोदशी तिथि का प्रदोष काल में होना जरूरी है और इस दिन यह तिथि प्रदोष काल में रहेगी।

september first pradosh vrat 2025 ka pradosh kaal samay

  • त्रयोदशी तिथि का आरंभ: 5 सितंबर 2025, शुक्रवार के दिन, सुबह 04:08 बजे
  • त्रयोदशी तिथि का समापन: 6 सितंबर 2025, शनिवार के दिन, रात तड़के 03:12 बजे

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शुक्र प्रदोष व्रत 2025 शुभ मुहूर्त

सितंबर के शुक्र प्रदोष व्रत के दिन भगवान शिव की दोपहर की पूजा के लिए अभिजीत मुहूर्त, शुभ काम के लिए विजय और अमृत काल मुहूर्त एवं भगवान शिव शंकर शंभू की विशेष पूजा और जलाभिषेक के लिए प्रदोष काल का निर्माण हो रहा है।

  • ब्रह्म मुहूर्त: सुबह 04:32 बजे से सुबह 05:17 बजे तक
  • प्रदोष काल पूजा मुहूर्त: शाम 06:38 बजे से रात 08:55 बजे तक
  • अभिजीत मुहूर्त: दोपहर 11:54 बजे से दोपहर 12:45 बजे तक
  • अमृत काल: रात 07:11 बजे से रात 08:58 बजे तक
  • विजय मुहूर्त: दोपहर 02:28 बजे से दोपहर 03:19 बजे तक

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सितंबर शुक्र प्रदोष व्रत महत्व

शुक्र प्रदोष व्रत को रखने से वैवाहिक जीवन में सुख और शांति आती है और प्रेम संबंधों में मधुरता बढ़ती है। यह व्रत शुक्र ग्रह को मजबूत करता है जिससे जीवन में धन, वैभव और समृद्धि आती है। भगवान शिव और माता पार्वती की कृपा से भक्तों की सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं।

september first pradosh vrat 2025 ka pradosh kaal time

  • शुक्र प्रदोष व्रत के दिन शुक्र मंत्र 'द्रां द्रीं द्रौं सः शुक्राय नमः।' का जाप करें।
  • शुक्रवार के दिन गुलाबी रंग की चीजें जैसे कि कमल, फिटकरी आदि का दान करें।

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FAQ
शुक्र प्रदोष व्रत के दिन क्या दान करें? 
शुक्र प्रदोष व्रत के दिन शमी के पौधे का दान करना शुभ होता है।
शुक्र प्रदोष व्रत के दिन भगवान शिव को क्या चढ़ाएं? 
शुक्र प्रदोष व्रत के दिन भगवान शिव को दही अर्पित करना चाहिए। 
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