महिलाएं अपनी लुक्स को लेकर काफी सजग रहती हैं। वह अपनी स्किन का पूरा ध्यान रखती हैं, हेल्दी डाइट और एक्सरसाइज भी करती हैं। लेकिन बढ़ती उम्र के साथ चेहरे पर उम्र का असर नजर आने लगता है। और आजकल की लाइफस्टाइल के चलते उम्र से पहले ही स्किन पर फाइन लाइन्स और रिंकल्स आने लगते हैं। इसे लेकर बहुत सी महिलाएं कॉन्शस हो जाती हैं और स्किन को जवां दिखाने के लिए कॉस्मेटिक ट्रीटमेंट पर विचार करती हैं। बोटॉक्स इंजेक्शन लेना ऐसा ही एक ट्रीटमेंट है।
जी हां बोटॉक्स इंजेक्शन चेहरे की फाइन लाइन्स और रिंकल्स को हटाने के लिए इस्तेमाल किए जाते हैं। इससे चेहरे की मसल्स रिलैक्स हो जाती हैं। इन इंजेक्शन को लेने के बाद माथे या आंखों के आसपास की मसल्स की एक्टिविटी कम हो जाती है, लेकिन कुछ समय के लिए रिंकल्स नजर नहीं आतीं, लेकिन कुछ समय बाद इंजेक्शन का असर कम हो जाता है। इसीलिए ये इंजेक्शन रेगुलर इंटरवल्स पर लेने की जरूरत होती है। यह इंजेक्शन 18-65 वर्ष के बीच की महिलाओं के लिए हैं। लेकिन आज भी महिलाओं के मन में इससे जुड़े कई मिथ हैं। इसलिए चिकित्सकों ने बोटोक्स ट्रीटमेंट के मिथ और फैक्ट के बारे में जानने की जरूरत पर जोर दिया है। फेमस स्किन स्पेशलिस्ट डॉक्टर बी.एल. जांगिड़ ने फेस-लिफ्ट, एंटी-एजिंग, स्मूथ, दाग-धब्बों से रहित स्किन के लिए बोटोक्स ट्रीटमेंट से जुड़े मिथकों के बारे में बताया, जो इस प्रकार हैं-
1. मिथ: बोटॉक्स ट्रीटमेंट सेफ नहीं है।
फैक्ट: बोटॉक्स न्यूरोटॉक्सिन के लिए परिचित है, जिसे बोटुलिनम टॉक्सिन टाइप ए कहा जाता है। बोटॉक्स का बड़े पैमाने पर चिकित्सकीय उपयोग किया जाता है। हालांकि इससे जुड़ा टॉक्सिन शब्द लोगों को इसके इस्तेमाल से डरा सकता है, लेकिन इस्तेमाल की जाने वाली मात्रा इतनी कम है, कि इसे चिकित्सकीय रूप से और कॉस्मेटिक ट्रीटमेंट में भी एक सेफ ट्रीटमेंट माना जाता है। बोटॉक्स के काम करने का तरीका बहुत वैज्ञानिक है। इसकी एक छोटी मात्रा जब इंजेक्शन मसल्स में नर्वस अंत से जुड़ जाता है और उस मसल्स के संपर्क में आने वाली नसों से आवेग को अवरुद्ध करता है।
इसे जरूर पढ़ें : बोटॉक्स इंजेक्शन लेने से नहीं दिखता उम्र का असर लेकिन ट्रेन्ड डॉक्टर की सलाह पर ही लें ट्रीटमेंट
2. मिथ: बोटॉक्स इंजेक्शन पेनफुल है।
फैक्ट: ज्यादातर महिलाओं का मानना है कि बोटाक्स इंजेक्शन काफी पेनफुल होता है। जबकि बोटॉक्स इंजेक्शन का पेन किसी भी अन्य नॉर्मल इंजेक्शन की तरह ही होता है। यह इंजेक्शन की हल्की चुभन जैसा है इससे ज्यादा कुछ नहीं। बोटॉक्स शॉट के बाद आपको किसी पेनकिलर की जरूरत नहीं होती है और आप तुरंत अपनी सामान्य दिनचर्या में वापस जा सकती हैं। एक बोटॉक्स इंजेक्शन बहुत ही महीन सुई है और इंजेक्शन की मात्रा भी बहुत कम है। ट्रीटमेंट से पहले एक सुन्न जेल भी लगाया जा सकता है। एक आइस पैक आगे पिन चुभन पेन को शांत करने में मदद करता है।
3. मिथ: बोटॉक्स एक बार का इलाज है।
फैक्ट: एक बोटॉक्स ट्रीटमेंट लगभग तीन महीने तक रहता है। उसी क्षेत्र का पुन: ट्रीटमेंट किया जा सकता है अगर कोई साइड इफेक्ट या प्रतिक्रिया नहीं होती है।
4. मिथ: बोटॉक्स ट्रीटमेंट से चेहरा प्लास्टिक जैसा दिखता है।
फैक्ट: जबकि ऐसा बिल्कुल भी नहीं है। बोटॉक्स ट्रीटमेंट आपके लुक को बदलने के बजाय बढ़ाता है। ट्रीटमेंट चेहरे के भावों में हस्तक्षेप नहीं करता है। यह उन मसल्स को आराम देता है जहां बोटॉक्स इंजेक्ट किया जाता है। यह संवेदी तंत्रिकाओं को प्रभावित नहीं करता है, इसलिए इंजेक्शन वाले हिस्से में किसी भी असामान्य भावना का सवाल नहीं है। केवल जब ट्रीटमेंट का इस्तेमाल जरूरत से ज्यादा मात्रा में किया जाता है तो इलाज वाली स्किन सूजा हुआ या हार्ड दिख सकता है। एक अनुभवी पेशेवर द्वारा ठीक से किया गया एक बोटॉक्स ट्रीटमेंट, चेहरे को लिफ्ट देने के लिए स्किन को रिंकल्स फ्री, सॉफ्ट और यंग बनाता है।
5. मिथ: स्किन क्रीम बोटॉक्स की तरह ही काम करती हैं।
फैक्ट: मसल्स को रिलैक्स करने के लिए स्किन क्रीम त्वचा के नीचे काम नहीं करती है। केवल एक बोटॉक्स ट्रीटमेंट रिंकल्स फ्री और ग्लोइंग स्किन के लिए अच्छा होता है।
6. मिथ: बोटॉक्स का असर खत्म होने के बाद रिंकल्स बिगड़ जाते हैं।
फैक्ट: बोटॉक्स ट्रीटमेंट एक स्थायी ट्रीटमेंट नहीं है। बोटॉक्स का प्रभाव लगभग 4-6 महीने तक रहता है, जिसके बाद यह बॉडी में टूट जाता है और घुल जाता है। अगर ट्रीटमेंट रोक दिया जाता है तो स्किन पहले से अधिक झुर्रिदार नहीं हो जाती। अपने स्किन स्पेशलिस्ट के साथ इस बारे में चर्चा करना बेहतर है कि आगे एंटी-एजिंग या झुर्रियों को रोकने के लिए किस ट्रीटमेंट को फॉलो करना चाहिए।
7. मिथ: बोटॉक्स प्लास्टिक सर्जरी के समान है।
फैक्ट: जैसा कि नाम से ही पता चलता है, प्लास्टिक सर्जरी एक सर्जरी है, जहां आप एनेस्थीसिया, कट और टांके से गुजरते हैं। जबकि बोटोक्स में, यह सिर्फ एक इंजेक्शन है जिसे कुछ मिनटों के लिए इंजेक्ट किया जाता है। प्लास्टिक सर्जरी का परिणाम स्थायी है जबकि बोटॉक्स अस्थायी है।
इसे जरूर पढ़ें: महंगे skin treatment को कहिये अलविदा और stretch marks में कीजिये ये घरेलु उपाय
8 मिथ: बोटॉक्स बहुत महंगा ट्रीटमेंट है।
फैक्ट: यह बोटॉक्स ट्रीटमेंट के बारे में नॉर्मल विचार है। लेकिन वास्तव में यह बहुत सस्ता है। बोटॉक्स का एक सेशन 6,000 रुपये से लेकर 20,000 रुपये तक हो सकता है जो इस बात पर निर्भर करता है कि यह किस हिस्से में किया गया है। चूंकि प्रभाव लगभग 4-6 महीनों तक रहता है, प्रति माह लागत बहुत अधिक नहीं होती है, लेकिन लगभग एक अच्छे चेहरे की लागत के समान होती है।
All Image Courtesy: Freepik.com
Source : IANS
HerZindagi ऐप के साथ पाएं हेल्थ, फिटनेस और ब्यूटी से जुड़ी हर जानकारी, सीधे आपके फोन पर! आज ही डाउनलोड करें और बनाएं अपनी जिंदगी को और बेहतर!
कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों