यह सच है कि मानसून झुलसती गर्मी से राहत पहुंचाता है लेकिन साथ ही लाता है, कई सारी बीमारियां, तो फिर अपने इम्यून सिस्टम को बेहतर बनाकर इसका सामना करने के लिये तैयार हो जाइए। जी हां अंर्तराष्ट्रीय लेवल के हॉलिस्टिक हेल्थ गुरु और कॉर्पोरेट लाइफ कोच, डॉक्टर मिकी मेहता बता रहे हैं कि इस मानसून बीमारियों से मुक्त रहने के लिये क्या करना चाहिए।
पोषण को लेकर डॉक्टर मेहता की फिलॉसफी वैज्ञानिक तथा प्राचीन परंपरा का मिश्रण है, वे सारी अच्छी चीजों को एक साथ लेकर आए हैं और जिसका पालन करना आसान है तथा इम्यूनिटी को बेहतर बनाता है। मानसून में हमें कई सारी बीमारियों के होने का खतरा बढ़ जाता है, जोकि इस मौसम से जुड़े होते हैं जैसे सर्दी और बुखार। इसलिए, यह वह समय होता है कि अपनी इम्यूनिटी को बढ़ाकर और उन बीमारियों के प्रति सतर्कता बरतकर अपने शरीर को बीमारियों से बचाकर रखा जा सके। आपको हर रोज उबला हुआ पानी पीने की आदत डालनी चाहिये, साथ ही आपको स्ट्रीट फूड या ज्यादा मात्रा में जहां खाना तैयार किया जाता है, वहां खाने से बचें।
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हीलिंग पावर से हेल्दी रखें
मानसून के दौरान हमारी इम्यूनिटी कमजोर पड़ जाती है और इस दौरान बीमारियों से लड़ने के लिये हमें खुद को नियमित रखना जरूरी होता है। सही आहार या पोषण इम्यूनिटी के लिये बेहद अहम हो जाता है, जिसे हम खुद बनाते हैं। डॉक्टर मेहता कहते हैं कि खुद को भोजन के हीलिंग पावर से हेल्दी रखें। वह बताते हैं कि हमारे शरीर और दिमाग के लिये हंसी, सूर्य की रोशनी, नींद, सकारात्मकता, माइंडफुलनेस के अलावा भोजन की सही मात्रा उसका पोषण होता है।
मौसमी फल खाएं
शरीर के सही पोषण के लिये वह शाकाहार, अच्छा महसूस करने के लिये सही भोजन, मौसमी फल लेने की सलाह देते हैं। दिमाग और शरीर पर उनका प्रभाव तथा कुछ खास प्रकार के खाद्य पदार्थों का शरीर पर थैरेपेटिक प्रभाव दुनिया में सेहत का दृष्टिकोण बदल सकते हैं। बारिश के मौसम में आने वाले फल एंटी-ऑक्सीडेंट से भरपूर होते हैं और किसी भी तरह की बीमारी से लड़ने में मदद करेंगे। जामुन, लीची, चेरी, आडू और प्लम कुछ ऐसे फल हैं, जिन्हें इस समय आपको खाना चाहिए, वैसे खाने से पहले कृपया उन्हें अच्छी तरह से धोएं। शकरकंद, गाजर, लहसुन, पालक, मेथी, करेला, मूली मानसून के दौरान इम्यूनिटी को बेहतर बनाते हैं।
खाने में थोड़ी सी सावधानी है जरूरी
डॉक्टर मेहता कहते हैं कि नाश्ता नेचुरल और साबुत होना चाहिये, जिसमें मौसमी फल, नट्स, सीरियल, पोहा, उपमा शामिल हो सकता है। लंच गोल्डन आवर में यानी 12 से 2 के बीच में करना चाहिये। मौसमी सब्जियों, चावल, बाजरा, रोटी, सलाद को थोड़ी-थोड़ी मात्रा में लेना चाहिए। रात का खाना सूर्यास्त के बाद 7.30 बजे तक कर लेना चाहिए। दालें और अनाज खाने से बचना चाहिये क्योंकि इनकी प्रकृति एसिडिक होते है। पूरे दिनभर मौसमी सब्जियों के जूस, अजवाइन, जायफल और दालचीनी के साथ हर्बल टी लें।
हर्ब्स भी है जरूरी
आपके खाने में हल्दी, राई, हींग, धनिया, मेथी, लौंग, कालीमिर्च, दालचीनी, लहसुन, अदरक और कढ़ी पत्ते जैसे मसाले शामिल करें। ये खाना पचाने में मदद करते हैं और शरीर से किसी भी तरह के साइनस को बाहर निकालने में मदद करते हैं। इस दौरान आपके सुस्त पड़े मेटाबॉलिज्म को सपोर्ट करने के लिये हल्का-फुल्का और ताजा बना खाना खाने की सलाह दी जाती है।
सब्जियों से पोषण लेने का सबसे बेहतरीन तरीका है सूप, लेकिन साथ ही फ्लू से बचे रहने का भी यह काफी कारगर तरीका हैं। रेडी टू ईट सूप पीने की बजाय, आप घर पर भी कुछ सूप तैयार कर सकते हैं ताकि अच्छी सेहत का डोज आपको मिल सके। गर्म सूप ना केवल आपको बेहतर नमी देते हैं, बल्कि सूप में अच्छी मात्रा में प्रोटीन और स्टार्च भी होता है। इसके अलावा, लहसुन, प्याज और अदरक का स्वाद आपके खाने को जायकेदार बना देता है। कॉमन कोल्ड-फ्लू से बचने के लिये, गर्म सूप आपकी सांस नली के तापमान को बढ़ाकर आपके नेज़ल पैसेज को खोलने में मददगार होते हैं।
खूब सारी हर्बल टी पियें, खासतौर से ऐसी टी जिनमें एंटीबैक्टीरियल गुण ज्यादा हों। इसमें अदरक, कालीमिर्च, शहद, पुदीना और बेसिल की पत्तियां शामिल हैं।
ड्राईफ्रूट्स भी है मददगार
अखरोट, बादाम और खजूर जैसे ड्राईफ्रूट्स में इम्यूनिटी के निर्माण के लिये आवश्यक विटामिन ई और मिनरल्स होते हैं। नट्स खाने से आप तनाव का सामना सही तरीके से कर पाते हैं और उससे लड़ पाते हैं।
हरी पत्तेदार सब्जियां जैसे पत्तागोभी, पालक और ब्रोकली विटामिन ए, सी और ई का अच्छा स्रोत है, साथ ही फॉलेट, एंटीऑक्सीसडेंट्स और फाइबर का भी ये अच्छा स्रोत हैं। इन विटामिन्स में एंटीऑक्सीडेंट गुण भी होते हैं, जोकि कोशिकाओं को बेहतर कार्य करने, साथ रखने और विकास में भी में मदद करते हैं।
एक कप दही में कुछ कटे हुए फल मिलाकर खाने से मजबूती मिलती है, क्योंकि इसमें विटामिन डी होता है, अन्य पोषक तत्वों का संबंध सर्दी और बुखार से लड़ने से है। एक अध्येयन में यह बात सामने आयी है कि पर्याप्त मात्रा में भोजन के जरिये या फिर सूरज की रोशनी के जरिये विटामिन डी लेने से सर्दी-जुकाम होने से बचाव होता है।
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मशरूम, विटामिन बी और एंटीऑक्सीडेंट्स से भरपूर होते हैं। विटामिन बी इम्यून की हेल्दी कार्यप्रणाली में अहम भूमिका निभाता है। वहीं सेलेनियम का संबंध गंभीर संक्रमणों के खतरे को कम करने से होता है।
पोषण से जुड़े ये टिप्स आपके जीवन को “इम्युनाइज्ड, एनरजाइजर, मैक्सी साइज, ऑप्टिमाइज्ड” बनाने में मदद करते हैं, तो फिर इन टिप्स को अपनाइए।
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