आज ऋषि पंचमी का खास दिन मनाया जा रहा है। इस साल यह व्रत भाद्रपद महीने की शुक्ल पक्ष पंचमी तिथि को पड़ा है। ऐसे में आज यानी 28 अगस्त के दिन ही लोग व्रत कर रहे हैं। ऐसा कहा जाता है कि इस व्रत को वह लोग करते हैं, जो अपनी गलतियों को सुधारने या उसका पश्चाताप करना चाहते हैं। ऐसे में इसे महिलाएं और पुरुष दोनों रख सकते हैं। इस व्रत को करने के लिए कुछ खास बातों का ध्यान रखना जरूरी होता है। आइए पंडित जन्मेश द्विवेदी जी से जानते हैं इस व्रत की पूजा विधि, सही समय और इसे रखने के पीछे का महत्व।
इस बार ऋषि पंचमी की तिथि 27 अगस्त यानि कल दोपहर 3 बजकर 44 मिनट से शुरू हो चुकी थी, जिसका समापन आज यानि 28 अगस्त को शाम 5 बजकर 56 मिनट पर होगा। इसलिए लोगों ने इस दिन ही व्रत को धारण किया है। ऐसे में पूजा का शुभ मुहूर्त 11 बजकर 5 मिनट से दोपहर 1 बजकर 28 मिनट तक रहने वाला है। इसमें आप अपनी पूजा पाठ को अच्छे से कर सकते हैं।
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हिंदू धर्म में ऋषि पंचमी का सप्तऋपियों का पूजन किया जाता है। यह हर साल मनाया जाता है। कई जगहों पर ऋषि पंचमी का भव्य आयोजन किया जाता है। ऐसा कहा जाता है कि इस व्रत को करने से घर में समृद्धि आती है। साथ ही, उनके आशीर्वाद से घर में उन्नति बनी रहेगी। आप भी चाहें तो अपने जीवन की खुशहाली के लिए इसे रख सकते हैं।
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