
मार्गशीर्ष महीने के शुक्ल पक्ष में पड़ने वाली मोक्षदा एकादशी का महत्व सनातन धर्म में बहुत ज्यादा बताया गया है। नाम के मुताबिक ही, ये एकादशी व्रत मोक्ष यानी मुक्ति दिलाने वाला माना जाता है। इस तिथि को इतना खास इसलिए भी माना जाता है क्योंकि इसी शुभ दिन पर भगवान श्रीकृष्ण ने कुरुक्षेत्र में अर्जुन को श्रीमद्भगवद्गीता का उपदेश दिया था। इसीलिए इस दिन को गीता जयंती के रूप में भी मनाया जाता है।
मोक्षदा एकादशी के दिन मुख्य रूप से भगवान विष्णु और माता लक्ष्मी जी की पूजा-अर्चना की जाती है। धार्मिक मान्यता है कि इस दिन अगर आप सच्चे मन से कुछ विशेष और शक्तिशाली मंत्रों का जाप करते हैं, तो आपके जीवन की सभी परेशानियां दूर हो जाती हैं। इससे पुराने पापों का नाश होता है, सुख और सौभाग्य मिलता है। व्यक्ति को मोक्ष की प्राप्ति भी होती है। आइए वृंदावन के ज्योतिषाचार्य राधाकांत वत्स से जानते हैं कि मोक्षदा एकादशी के दिन कौन-से मंत्र जाप मोक्ष के द्वार खोलने में सहायक सिद्ध होते हैं।
मोक्षदा एकादशी के मंत्र (Mokshada Ekadashi Puja Mantra 2025)
मोक्षदा एकादशी के दिन भगवान विष्णु और मां लक्ष्मी को प्रसन्न करने के लिए आप इन सरल और प्रभावी मंत्रों का जाप कर सकते हैं। इन मंत्रों का जाप कम से कम 108 बार करना शुभ माना जाता है।
विष्णु मूल मंत्र: ऊँ नमो भगवते वासुदेवाय। इस मंत्र को जपने से भगवान विष्णु की सीधी कृपा प्राप्त होती है। यह सबसे सरल और शक्तिशाली मंत्र है जो जीवन में शांति, सकारात्मक ऊर्जा और सफलता लाता है।

विष्णु गायत्री मंत्र: ऊँ नारायणाय विद्महे।, वासुदेवाय धीमहि।, तन्नो विष्णु प्रचोदयात्। यह मंत्र एकाग्रता बढ़ाता है, आत्मिक शक्ति देता है और जीवन में आ रही बाधाओं को दूर कर उन्नति के मार्ग खोलता है।
विष्णु सुरक्षा मंत्र: शांता कारम भुजङ्ग शयनम पद्म नाभं सुरेशम्। विश्वाधारं गगन सद्र्श्यं मेघ वर्णं शुभांगम। लक्ष्मी कान्तं कमल नयनम योगिभिर्ध्यान नग्म्य्म। वन्दे विष्णुम् भवभय हरं सर्व लोकैक नाथम्।
यह मंत्र भगवान विष्णु के दिव्य और शांत स्वरूप का वर्णन करता है। इसका जाप करने से सभी तरह के भय दूर होते हैं, मन शांत होता है और विपदाओं से रक्षा मिलती है।

एकादशी के दिन सुबह जल्दी उठकर स्नान करें और स्वच्छ वस्त्र धारण करें। भगवान विष्णु की मूर्ति या तस्वीर स्थापित करें, उन्हें पीले फूल, फल और तुलसी दल अर्पित करें। इसके बाद व्रत/पूजा का संकल्प लें।
रुद्राक्ष या तुलसी की माला से अपनी सुविधा अनुसार ऊपर दिए गए किसी भी मंत्र का 108 बार या उससे अधिक बार जाप करें। इन मंत्रों के जाप से धन-धान्य, सुख-समृद्धि में वृद्धि होती है, करियर और व्यापार में सफलता मिलती है और अंत में व्यक्ति को मोक्ष की प्राप्ति होती है।
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