बारिश की रिमझिम बौछारों के साथ बीमारियां की भी बरसात होने लगती है। जी हां जून के बाद बारिश की शुरूआत होने पर जगह-जगह मच्छर पनपने लगते हैं और डेंगू अपने पैर पसारने लगता है। Dengue वायरस के संक्रमण से होती है, जो मादा ऐडीस मच्छर के काटने से फैलता है। अगर डेंगू इलाज समय पर न होने पर मरीज की हालत गंभीर हो सकती है और उसकी जान भी जा सकती है। समय से उपचार न मिलने पर डेंगू रक्तस्रावी बुखार होने लगता है।
बारिश के मौसम में dengue ने एक बार फिर से राजधानी में डर और बेचैनी का माहौल पैदा कर रहा है। जिस थोड़ा सा भी बुखार होता है वह इसे डेंगू समझने लगता है। पिछले कुछ सालों में डेंगू के मामलों में काफी बढ़ोतरी देखी गई है। पिछले साल तो डेंगू ने कहर ही मचा दिया था और पिछले पांच सालों के डेंगू के मामले हजार के आंकड़े को पार कर लाख के आंकड़ें में पहुंच गया।
साल दर साल बढ़ रहा है dengue का डंक, आप कितने हैं तैयार?
पिछले कुछ सालों में डेंगू के मामलों में काफी बढ़ोतरी देखी गई है। यह आंकड़ा हजार को पार कर लाख में पहुंच गया है।